New Parliament Inauguration: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार को नए संसद भवन का उद्घाटन करने पहुंचे हैं। संसद भवन उद्घाटन के लिए एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया है जिसमें नए संसद भवन का निर्माण करने वाले श्रमिकों को भी आमंत्रित किया गया है।
इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इन श्रमिकों को सम्मानित किया। नए संसद भवन के उद्घाटन से पहले, पीएम मोदी ने निर्माण श्रमिकों को पारंपरिक शॉल पहनाया और स्मृति चिन्ह सौंपे।
इस बीच, पीएम के हाथों सम्मानित होकर श्रमिकों में खुशी देखी गई। प्रधानमंत्री मोदी ने नए संसद भवन के उद्घाटन के साथ ही पूजा-अर्चना की और 'सेंगोल' को लोकसभा कक्ष में स्थापित किया।
नए संसद भवन में स्थापित करने से पहले उन्हें अधीनम्स द्वारा ऐतिहासिक 'सेंगोल' सौंप दिया गया था। अमृत काल के राष्ट्रीय प्रतीक के रूप में 'सेंगोल' स्थापित किया गया था।
पीएम ने की 'सेंगोल' की स्थापना
गौरतलब है कि नए संसद भवन के उद्घाटन के दौरान प्रधानमंत्री ने सत्ता हस्तांतरण का प्रतीक सेंगोल को लोकसभा अध्यक्ष के कक्ष में स्थापित किया। इसके बाद पीएम ने तमिलनाडु के विभिन्न अधीनमों के संतों का आशीर्वाद भी प्राप्त किया।
मालूम हो कि यह वही सेंगोल है जिसे भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने 14 अगस्त की रात अपने आवास पर कई नेताओं की उपस्थिति में स्वीकार किया था। नए संसद भवन का उद्घाटन समारोह वैदिक रीति-रिवाजों के साथ पारंपरिक 'पूजा' के साथ शुरू हुआ।
पूजा के दौरान पीएम मोदी के साथ लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला भी मौजूद रहे। वहीं, उप राज्यसभा सभापति, हरिवंश द्वारा भाषण दिया जाएगा, जो राज्यसभा के सभापति, जगदीप धनखड़ की ओर से एक लिखित बधाई संदेश पढ़ेंगे। इस अवसर पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का लिखित संदेश भी पढ़ा जाएगा।
क्या है नए संसद भवन की खासियत?
दरअसल, पुराना संसद भवन 1927 में बनकर तैयार हुआ था और यह लगभग 100 साल पुराना होने जा रहा है। वर्तमान समय में आवश्यकताओं के अनुसार, यह भवन छोटा पड़ रहा है।
दोनों सदनों में सांसदों के बैठने की सुविधाजनक व्यवस्था का भी अभाव था जिससे सदस्यों की कार्यकुशलता प्रभावित हो रही थी। ऐसे में वर्तमान समय की जरूरतों को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से साल 2020, 10 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संसद के नए भवन की आधारशिला रखी गई।
नवनिर्मित संसद भवन को गुणवत्तापूर्ण निर्माण के साथ रिकॉर्ड समय में तैयार किया गया है। नए संसद भवन से 888 सदस्य लोकसभा में बैठ सकेंगे। संसद के वर्तमान भवन में लोक सभा में 543 तथा राज्य सभा में 250 सदस्यों के बैठने का प्रावधान है।
भविष्य की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए संसद के नवनिर्मित भवन में लोकसभा में 888 सदस्यों और राज्य सभा में 384 सदस्यों की बैठक की व्यवस्था की गई है। दोनों सदनों का संयुक्त सत्र लोकसभा चैंबर में होगा