Maharashtra Politics nagar nikay chunav: मनसे-यूबीटी गठबंधन अफवाहों के बीच राज ठाकरे ने सीएम देवेंद्र फडणवीस से की मुलाकात
By सतीश कुमार सिंह | Updated: June 12, 2025 13:18 IST2025-06-12T11:58:38+5:302025-06-12T13:18:28+5:30
Maharashtra Politics nagar nikay chunav: अफवाहों के बीच महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) प्रमुख और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गुरुवार 12 जून को मुंबई के बांद्रा में ताज लैंड्स एंड में एक बैठक की।

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मुंबईःमहाराष्ट्र में राजनीति गतिविधि तेज है। राज ठाकरे ने सीएम देवेंद्र फडणवीस से मुलाकात की। महाराष्ट्र में निकाय चुनाव होने वाला है। कई दिन से खबर आ रही हैं कि राज और उद्धव ठाकरे के बीच राजनीतिक गठबंधन हो सकता है। इस बीच ठाकरे बंधुओं के बीच गठबंधन की अफवाहों के बीच महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) प्रमुख और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गुरुवार 12 जून को मुंबई के बांद्रा में ताज लैंड्स एंड में एक बैठक की। राज और उद्धव के कई नेता रोज बयान दे रहे हैं कि दोनों के बीच गठजोड़ की पटकाथा लिखी जा रही है। रिपोर्टों से पता चलता है कि फडणवीस और मनसे नेता की बैठक महाराष्ट्र में निकाय चुनावों से पहले शिवसेना यूबीटी और मनसे के बीच संभावित गठबंधन को समाप्त कर देगी, जो 2025 के अंत में होने की संभावना है।
#BREAKING: : A meeting is underway between MNS chief Raj Thackeray and Maharashtra Deputy CM Devendra Fadnavis at a Bandra hotel, amid talks of Uddhav Thackeray’s possible alliance. The discussion holds key importance ahead of the upcoming municipal elections pic.twitter.com/rvLSY4kJMO
— IANS (@ians_india) June 12, 2025
गुरुवार सुबह मुंबई के ताज लैंड्स एंड होटल पहुंचे। यह मुलाकात ऐसे समय में हुई है जब राज द्वारा आगामी बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) चुनावों में अपने चचेरे भाई उद्धव के साथ गठबंधन करने की चर्चा चल रही है। हाल ही में दोनों चचेरे भाइयों के बयानों से राज्य में होने वाले नगर निगम चुनावों से पहले गठबंधन की अटकलों को हवा मिली है।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे ने बृहस्पतिवार को सुबह मुंबई के एक होटल में मुलाकात की। यह मुलाकात शिवसेना (उबाठा) प्रमुख उद्धव ठाकरे और उनके चचेरे भाई राज ठाकरे में सुलह की अटकलों के बीच हुई है।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता फडणवीस और राज ठाकरे ने सुबह यहां बांद्रा इलाके में एक पांच-सितारा होटल में मुलाकात की। सूत्रों ने इसकी पुष्टि की लेकिन विस्तृत जानकारी नहीं दी। इस बारे में संपर्क करने पर भाजपा के मुख्य प्रवक्ता केशव उपाध्ये ने कहा कि दोनों नेता अच्छे दोस्त हैं और राज्य से संबंधित विकास के मुद्दों पर चर्चा करने के लिए मिले होंगे।
महाराष्ट्र सरकार ने इस सप्ताह मुंबई सहित 29 नगर निगमों के लिए वार्ड परिसीमन का आदेश जारी करके स्थानीय निकाय चुनाव की प्रक्रिया शुरू कर दी। इन चुनाव से पहले ठाकरे बंधुओं के बीच संभावित सुलह की अटकलें लगाई जा रही हैं। राजनीतिक रूप से कई वर्ष पहले ही अलग हो चुके ठाकरे भाइयों ने अपने हालिया बयानों से इस तरह की अटकलों को हवा दी जिनसे संकेत मिला कि वे ‘मामूली मुद्दों’ को नजरअंदाज कर सकते हैं और लगभग दो दशक तक अलग रहने के बाद हाथ मिला सकते हैं।
राज ठाकरे ने कहा था कि ‘मराठी मानुस’ (मराठी भाषी लोगों) के हित में एकजुट होना मुश्किल नहीं है, वहीं उद्धव ने इस बात पर जोर दिया कि वह मामूली झगड़ों को अलग रखने के लिए तैयार हैं, बशर्ते कि महाराष्ट्र के हितों के खिलाफ काम करने वालों को शामिल न किया जाए। राज ठाकरे ने 2024 के लोकसभा चुनाव में भाजपा को समर्थन दिया था, लेकिन उनकी पार्टी ने पिछले साल नवंबर में राज्य विधानसभा चुनाव अपने दम पर लड़ा था।
उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने भी कहा था कि शिवसेना (उबाठा)-मनसे गठबंधन पर निर्णय संबंधित पार्टी प्रमुखों का विशेषाधिकार है। उन्होंने कहा, "राज ठाकरे मनसे के प्रमुख हैं और उद्धव ठाकरे शिवसेना (उबाठा) के मुखिया हैं। वे तय करेंगे कि रेल इंजन (मनसे का चुनाव चिह्न) और जलती मशाल (शिवसेना उबाठा का चुनाव चिह्न) के बीच गठबंधन होगा या नहीं।
भाजपा ने बृहन्मुंबई नगर निगम के साथ-साथ पुणे और ठाणे सहित अन्य प्रमुख नगर निकायों के चुनावों की तैयारी शुरू कर दी है, जो इस साल के अंत में होने की संभावना है। उद्धव ठाकरे के चचेरे भाई राज ठाकरे ने इस तरह के संकेत देने वाले बयान से दोनों के बीच संभावित सुलह की अटकलों को हवा दे दी है कि वे ‘‘छोटे-मोटे मुद्दों’’ को नजरअंदाज कर सकते हैं।
2022 में शिवसेना में विभाजन के बाद मुंबई में उद्धव ठाकरे का प्रभाव कम हो गया है और पार्टी के लगभग आधे पार्षद एकनाथ शिंदे गुट में शामिल हो गए हैं। उन्होंने कहा कि इस बीच, राज ठाकरे का प्रभाव सीमित माना जाता है। पदाधिकारी ने कहा कि अगर भाजपा बीएमसी चुनावों में (कुल 227 में से) 150 सीट पर चुनाव लड़ती है तो उसे फायदा होगा।