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Lok Sabha Elections 2024: "मोदी सरकार ने मुफ्त कोविड टीकाकरण विपक्ष और सुप्रीम कोर्ट के दबाव में किया था", जयराम रमेश का केंद्र सरकार पर एक और हमला

By आशीष कुमार पाण्डेय | Updated: April 5, 2024 12:25 IST

कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि कोविड ​​​​-19 महामारी के दौरान केंद्र की मोदी सरकार द्वारा किए गए "कुप्रबंधन की सीमा" को भूलना किसी के लिए असंभव है।

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ठळक मुद्देकोविड महामारी में मोदी सरकार के "कुप्रबंधन की सीमा" को भूलना किसी के लिए असंभव हैकांग्रेस महासचिव और पार्टी के संचार विभाग के प्रमुख जयराम रमेश ने घेरा मोदी सरकार कोमोदी सरकार ने विपक्ष और सुप्रीम कोर्ट के दबाव में कोविड का टीकाकरण फ्री किया

नई दिल्ली:कांग्रेस पार्टी के महासचिव और पार्टी के संचार विभाग के प्रमुख जयराम रमेश ने शुक्रवार को यह कहते हुए कि कोविड ​​​​-19 महामारी के दौरान केंद्र की मोदी सरकार द्वारा किए गए "कुप्रबंधन की सीमा" को भूलना असंभव है, उन्होंने दावा किया कि सुप्रीम कोर्ट और विपक्ष के दबाव में केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने मुफ्त टीकाकरण की शुरूआत की।

कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि भाजपा मुफ्त कोविड-19 टीकाकरण को एक बड़ी उपलब्धि बताती है, जबकि इसके लिए विपक्ष और सुप्रीम कोर्ट का दबाव काम आया था।

उन्होंने सोशल प्लेटफॉर्म एक्स पर किये पोस्ट में कहा, "सच्चाई यह है कि विपक्ष की जिद और सुप्रीम कोर्ट के हस्तक्षेप से मोदी सरकार को ऐसा करना पड़ा। आप घटनाक्रम को समझिए कि 18 अप्रैल 2021 को डॉ. मनमोहन सिंह ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर मुफ्त टीकाकरण के मामले में स्पष्टीकरण देने की अपील की। उस समय तक वैक्सीन नीति अव्यवस्थित थी और उन्हें टीकाकरण को बढ़ाने के बारे में सुझाव दिए गए थे।''

कांग्रेस नेता ने एक्स पर पोस्ट में आगे कहा, "केंद्र ने 19 अप्रैल, 2021 को वैक्सीन के ''निर्धारित मूल्य'' की घोषणा की और त्वरित राष्ट्रीय कोविड-19 टीकाकरण रणनीति ने 18 से 44 वर्ष के बीच के नागरिकों के टीकाकरण को राज्य सरकारों की जिम्मेदारी बना दिया, निश्चित रूप से वह मुफ्त टीकाकरण योजना नहीं थी।"

प्रधानमंत्री को 12 मई 2021 को विपक्ष के 12 नेताओं ने एक संयुक्त पत्र लिखा, जिसमें उन्होंने "मुफ्त एवं सामूहिक टीकाकरण अभियान" की मांग की। जयराम रमेश ने आगे कहा, सुप्रीम कोर्ट ने 31 मई, 2021 को मोदी सरकार के टीकाकरण रणनीति को "मनमानी और तर्कहीन" बताया और मोदी सरकार को आदेश दिया कि वो 13 जून 2021 तक इसकी समीक्षा करें।

कांग्रेस नेता रमेश ने कहा, "उसके बाद मोदी सरकार ने बहुत टालमटोल का रवैया दिखाते हुए विपक्ष और सुप्रीम कोर्ट के भारी दबाव में 7 जून 2021 को सार्वभौमिक टीकाकरण कार्यक्रम की घोषणा की।"

उन्होंने आगे मोदी सरकार पर बेहद तीखा हमला करते हुए कहा कि इस सरकार का कोई भी "प्रचार" कोविड महामारी के दौरान पूरे भारत में लाखों परिवारों के दर्द को नहीं मिटा पाएगा।

जयराम रमेश ने कहा, "कोविड-19 महामारी के दौरान हुए कुप्रबंधन की हद को भूलना मुश्किल है। लाशों ने गंगा को जाम कर दिया था। ऑक्सीजन की भारी कमी और अराजकता का आलम अपने शिखर पर था। मोदीजी का कोई भी "प्रचार" इस भयंकर दर्द को नहीं मिटा पाएगा।"

टॅग्स :लोकसभा चुनाव 2024कांग्रेसकोविड-19 इंडियामोदी सरकारसुप्रीम कोर्टJairam Ramesh
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