लॉकडाउन के दौरान वकीलों ने शुरू किये अपने रुचि के काम

By भाषा | Published: November 7, 2020 05:42 PM2020-11-07T17:42:04+5:302020-11-07T17:42:04+5:30

Lawyers started their work of interest during lockdown | लॉकडाउन के दौरान वकीलों ने शुरू किये अपने रुचि के काम

लॉकडाउन के दौरान वकीलों ने शुरू किये अपने रुचि के काम

(शिखा वर्मा)

नयी दिल्ली, सात नवंबर अदालतों में आमतौर पर जिरह करने वाले कई युवा वकीलों ने कोरोना वायरस के कारण लागू लॉकडाउन के दौरान अपनी उद्यमिता और व्यावसायिक कौशल के विभिन्न आयाम तलाशते हुए ऑनलाइन माध्यम से भोजन उपलब्ध कराने से लेकर घर पर रसोई सेवा जैसे अनेक काम शुरू किये।

देशभर की अदालतों के बंद होने से वकीलों के पास समय की कमी नहीं थी और उन्होंने इस अवसर का लाभ उठाते हुए वकालत के साथ-साथ अपनी रुचि और ‘हॉबी’ से संबंधित काम किया।

संवैधानिक कानून और लाइसेंसिंग के विशेषज्ञ 29 वर्षीय अंकित मल्होत्रा का कहना है कि महामारी के कारण कानूनी मामलों की संख्या बेहद कम हो गई थी।

‘बैग ऑफ हर्ब्स’ नामक स्टार्टअप शुरू करने वाले मल्होत्रा ने कहा, “इससे मेरे पास बहुत समय बच रहा था और इस दौरान मुझे खाने लायक बीज जैसे सुपरफूड, मसाले और औषधीय गुणों वाली वनस्पति बेचने का विचार आया जिनसे रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है और स्वास्थ्य को अन्य प्रकार के लाभ होते हैं।”

मार्च के अंत में लागू हुए लॉकडाउन के दौरान अदालतों में केवल आवश्यक मामलों की ही सुनवाई हो रही थी।

मल्होत्रा ने कहा, “लॉकडाउन के दौरान मैंने शुरुआत में अपने माता पिता की उनके काम में सहायता की। इस दौरान मैं ऐसे विक्रेताओं के संपर्क में आया जो औषधीय गुणों वाली वनस्पति और मसाले बेचते थे। मैंने पोषक तत्वों वाले भोजन पकाने की अपनी रुचि को आगे बढ़ाने का फैसला किया।”

उन्होंने कहा, “मैंने ‘बैग ऑफ हर्ब्स’ नामक स्टार्टअप शुरू किया जिसके तहत हम ऐसे मसाले आदि बेचते हैं जिनमें पोषक तत्व हैं और वह रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाते हैं। इसके साथ ही उनका स्वाद भी अच्छा है।”

कारपोरेट वकील महिमा अहलूवालिया सिन्हा और यशिता डालमिया ने गुरुग्राम और दिल्ली में ‘होम किचन’ शुरू किया।

पिछले 12 साल से कानून के पेशे में पहचान बना चुकी सिन्हा ने ‘अस्सी तुस्सी भालो आछी’ नामक होम किचन शुरू किया जो बंगाली और पंजाबी खाना उपलब्ध कराता है।

उन्होंने कहा कि उन्होंने वकालत का पेशा छोड़ा नहीं है और ऐसा करने का उनका इरादा भी नहीं है।

दिल्ली में रहने वाली डालमिया एक विमानन केटरिंग कंपनी के साथ काम करती हैं और पिछले आठ साल से वकालत कर रही हैं।

उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के दौरान उन्होंने यहां सिविल लाइन्स में ‘यशिता किचन’ की शुरुआत की।

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Web Title: Lawyers started their work of interest during lockdown

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