लालू का दावा- महागठबंधन में वापस आना चाहते थे नीतीश कुमार; प्रशांत किशोर ने किया पलटवार
By आदित्य द्विवेदी | Published: April 5, 2019 11:29 AM2019-04-05T11:29:09+5:302019-04-05T11:29:09+5:30
प्रशांत किशोर ने लालू प्रसाद यादव के दावे को फर्जी बताते हुए कहा कि अगर वो राज खोलने लगें तो लालू प्रसाद असहज हो जाएंगे।
राष्ट्रीय जनता दल के मुखिया लालू प्रसाद यादव ने दावा किया है कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बीजेपी को छोड़कर महागठबंधन में वापस आना चाहते थे। लेकिन लालू ने उन्हें मना कर दिया क्योंकि वो नीतीश कुमार पर पूरी तरह विश्वास खो चुके थे। लालू प्रसाद यादव ने अपनी जल्दी ही रिलीज होने वाली किताब 'गोपालगंज टु रायसीना: माय पॉलिटिकल जर्नी' में दावा किया है कि जेडीयू के उपाध्यक्ष और नीतीश के दूत प्रशांत किशोर ने पांच मौकों पर उनसे मुलाकात की थी। प्रशांत किशोर ने लालू के दावे का पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि जेडीयू में शामिल होने से पहले उन्होंने लालू से मुलाकात की थी लेकिन उसमें क्या-क्या बातें हुईं अगर सार्वजनिक कर दें तो लालू को शर्मसार होना पडे़गा।
प्रशांत किशोर ने लिखा, 'लालूजी द्वारा बताए गए दावे गलत हैं. यह और कुछ नहीं बल्कि एक ऐसे नेता द्वारा अपनी प्रासंगिकता बताने की कोशिश का एक घटिया प्रयास है जिनके अच्छे दिन पीछे छूट चुके हैं।'
The claims made by Laluji as reported are BOGUS. This is nothing but a poor attempt seeking relevance by a leader whose best days are behind him.
— Prashant Kishor (@PrashantKishor) April 5, 2019
Yes, we did meet many times before I joined JDU, but if I were to tell what all was discussed then he would be quite embarrassed. https://t.co/9B5clUBxea
तेजस्वी यादव ने लालू प्रसाद दे दावे से सहमति जताते हुए कहा कि वो पूरी जिम्मेदारी के साथ इस बात की तस्कीद करते हैं। एनडीए में शामिल होने के 6 माह के अंदर नीतीश कुमार ने कई माध्यमों से महागठबंधन में वापस आने का प्रस्ताव रखा था लेकिन लालू जी ने मना कर दिया।
Tejashwi Yadav on Nitish Kumar wanted to rejoin mahagatbadhan says Lalu in upcoming book: I say this with full responsibility, Nitish Kumar made many attempts to get back and ally with us, he tried many different approaches, that also within 6 months of returning to NDA pic.twitter.com/gdGJTFaP0b
— ANI (@ANI) April 5, 2019
बता दें कि जल्दी ही लालू प्रसाद की किताब 'गोपालगंज टु रायसीना: माय पॉलिटिकल जर्नी' रिलीज हो रही है। ये किताब लालू प्रसाद ने नलिन वर्मा के साथ मिलकर लिखी है। इसमें लालू ने लिखा है कि प्रशांत किशोर की यह मंशा थी कि अगर मैं जेडीयू को लिखित में समर्थन दे दूं तो वो बीजेपी का साथ छोड़कर महागठबंधन में दोबारा शामिल हो सकते हैं।
लालू प्रसाद ने लिखा है कि नीतीश के ऊपर से उनकी विश्वास खत्म हो चुका है। बाकी और मन में किसी बात की कड़वाहट नहीं है।