कठुआ गैंगरेप के लिए प्रसिद्ध मलयालम लेखक ने मंदिर में जाकर किया 'प्रायश्चित'
By भाषा | Published: June 7, 2018 04:18 PM2018-06-07T16:18:45+5:302018-06-07T16:18:45+5:30
प्रगतिशील लेखक रामापुन्नी ने साहित्य अकादमी के पुरस्कार के रूप में मिली राशि को जुनैद के परिवार को दान कर दिया था।
कन्नूर , सात जून (भाषा) कठुआ में बच्ची से बलात्कार की घटना के खिलाफ जाने - माने मलयाली लेखक और साहित्य अकादमी पुरस्कार विजेता के पी रामानुन्नी ने चिरक्कल के एक मंदिर में आज सांकेतिक ‘ श्यन प्रदक्षिणम ’(दंडवत) किया।
लेखक ने कहा कि इस साल जनवरी में जम्मू कश्मीर के कठुआ में आठ वर्षीय बच्ची की बर्बर बलात्कार के बाद हत्या की घटना के विरोध में यह प्रायश्चित किया गया है।
बच्ची को एक हफ्ते तक गांव के छोटे मंदिर में बंधक बनाकर रखा गया था और छह व्यक्तियों ने उससे कथित रूप से बलात्कार किया था।
युवा मोर्चा के कार्यकर्ता बड़ी संख्या में श्री कृष्ण मंदिर में जमा हो गए ताकि उन्हें ‘ श्यन प्रदक्षिणम ’ करने से रोका जा सके , लेकिन रामानुन्नी ने मंदिर के तालाब में डुबकी लगाई और सांकेतिक अनुष्ठान किया।
उन्होंने बाद में संवाददाताओं से कहा कि प्रार्थनाएं न केवल निजी मामलों के लिए की जा सकती हैं बल्कि सामाजिक मसलों के लिए भी की जा सकती हैं।
युवा मोर्चा ने कहा कि लेखक का कदम ‘ राजनीतिक दांवपेंच ’ है। केरल संस्कृति संगम ने कार्यक्रम का आयोजन किया था।
प्रगतिशील लेखक रामापुन्नी ने साहित्य अकादमी के पुरस्कार के रूप में मिली राशि को जुनैद के परिवार को दान कर दिया था। हरियाणा में एक ट्रेन में जुनैद की भीड़ ने हत्या कर दी थी।
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