CAA विरोध: बिहार में 19 दिसंबर को बंद का आह्वान, कन्हैया कुमार ने फिर लगाए आजादी के नारे
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: December 17, 2019 08:47 AM2019-12-17T08:47:08+5:302019-12-17T08:47:08+5:30
कन्हैया ने कहा, प्रधानमंत्री ने कहा कि वह प्रदर्शनकारियों को उनकी बॉडी लैंग्वेज से समझ सकते हैं, लेकिन मैं पीएम को बता दूं कि हम उनके दिमाग को अच्छी तरह से पढ़ते हैं।
नागरिकता कानून पर पूरे देश में बवाल जारी है। 19 दिसंबर को बिहार में विपक्षी दलों ने बंद का आह्वान किया है। वहीं सीपीआई नेता और जेएनयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार ने नए नागरकिता कानून और एनआरसी को लेकर केंद्र सरकार चेतावनी दी है।
इंडियन एक्सप्रेस में छपी रिपोर्ट के अनुसारकन्हैया कुमार ने कहा है, अगर आप हमें नागरिक नहीं मानते हैं तो हम आपको सरकार नहीं मानते। बिहार के पूर्णिया में एक रैली को संबोधित करते हुए कन्हैया कुमार ने छात्रों से शांति से प्रदर्शन करने की अपील की।
देश के विद्यार्थियों पर पुलिस के दमन और संविधान एवं ग़रीब विरोधी CAB-NRC के खिलाफ आज पूर्णिया(बिहार) की जनता ने अपनी आवाज बुलन्द की। जनता समझ रही है कि उनके असल सवालों को दबाने के लिए यह सरकार उन्हें नागरिकता सिद्ध करने के लिए सरकारी दफ़्तरों के बाहर लाइनों में लगा देना चाहती है। pic.twitter.com/vFZULxKnhZ
— Kanhaiya Kumar (@kanhaiyakumar) December 16, 2019
कन्हैया ने कहा, 'अगर आप हमें नागरिक नहीं मानते हैं, तो हम आपको सरकार नहीं मानते हैं। संसद में आपके पास बहुमत हो सकता है; हमारे पास सड़क पर बहुमत है। यह लड़ाई हिंदुओं या मुसलमानों के बारे में नहीं है। हम सावरकर का नहीं बल्कि भगत सिंह और बाबासाहेब आंबेडकर का देश चाहते हैं। वे चाहते हैं कि अशफाक और बिस्मिल लड़ें, (लेकिन) हम ऐसा नहीं होने देंगे। ”
दिल्ली के जामिया मिल्लिया इस्लामिया और अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में प्रदर्शनकारियों के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई का उल्लेख करते हुए कन्हैया ने कहा, "जब पुलिस छात्रों पर आंसू गैस छोड़ती है तो देश भर के छात्रों को एकजुट रहने की जरूरत है, लेकिन शांतिपूर्ण तरीके से विरोध करें। सरकार को बताएं कि एनआरसी की जरूरत नहीं है। यह संविधान को बचाने की लड़ाई है। हम प्रज्ञा ठाकुर का भारत नहीं चाहते हैं।"
कन्हैया ने कहा, प्रधानमंत्री ने कहा कि वह प्रदर्शनकारियों को उनकी बॉडी लैंग्वेज से समझ सकते हैं, लेकिन मैं पीएम को बता दूं कि हम उनके दिमाग को अच्छी तरह से पढ़ते हैं। हम आपको कोई भी कागजात (एनआरसी पर) नहीं दिखाने जा रहे हैं, लेकिन लोगों को प्याज की बढ़ती कीमतों और अन्य महत्वपूर्ण सार्वजनिक मुद्दों के बारे में बताएंगे।