सीपीएम नेता कन्हैया इन दिनों बिहार में सीएए-एनपीआर व एनआरसी के खिलाफ जन-गण-मन यात्रा चला रहे हैं। अपने यात्रा के दूसरे दिन कन्हैया ने गोपालगंज में कहा कि देश के लोकतंत्र को लूटतंत्र और भीड़तंत्र में बदलने की गोडसेवादियों की साज़िश के ख़िलाफ़ देश की जनता एकजुट हो रही है।
इससे पहले जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार को गुरुवार (30 जनवरी) को बिहार पुलिस ने हिरासत में ले लिया था। कन्हैया कुमार ने यह जानकारी ट्वीट कर दी थीं। कन्हैया बापू की पूण्यतिथि पर चम्पारण से सीएए के विरोध में जन-गण-मन यात्रा की शुरुआत करने जा रहे थे।
कन्हैया ने ट्वीट कर बताया था कि आज बापू-धाम (चम्पारण) में गांधीजी को नमन करके ग़रीब-विरोधी CAA-NRC-NPR के विरोध में एक महीने की जन-गण-मन यात्रा की शुरूआत होनी थी। समाज के सभी तबक़ों के लोग इस यात्रा में शामिल होने के लिए मौजूद हैं, लेकिन प्रशासन ने कुछ देर पहले हम सबको हिरासत में ले लिया है।
पुलिस द्वारा रोके जाने के बाद कन्हैया कुमार भितिहरवा गांधी आश्रम के बाहर धरने पर बैठ गए थे।
इससे पहले जेएनयू के पूर्व छात्र नेता कन्हैया कुमार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर देश में हिंदू और मुस्लिम समुदायों के बीच टकराव पैदा करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) आग में तेल डालने का काम कर रहा है। वह महाराष्ट्र के परभणी के पाथरी में मंगलवार को सीएए और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के खिलाफ रैली को संबोधित कर रहे थे।