जम्मू कश्मीर: सीबीआई ने निर्मल सिंह के खिलाफ मामला बंद किया, कहा- मामला हाईकोर्ट में लंबित है, RTI से हुआ खुलासा

By विशाल कुमार | Published: April 13, 2022 12:06 PM2022-04-13T12:06:08+5:302022-04-13T12:08:11+5:30

सीबीआई के मुख्य जन सूचना अधिकारी (सीपीआईओ) ने एक आरटीआई के जवाब में खुलासा किया कि सक्षम प्राधिकारी द्वारा शिकायत की जांच की गई और यह निष्कर्ष निकाला गया कि चूंकि मामला हाईकोर्ट के समक्ष लंबित है, इसलिए सीबीआई की तरफ से शिकायत को बंद किया जाता है।

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जम्मू कश्मीर: सीबीआई ने निर्मल सिंह के खिलाफ मामला बंद किया, कहा- मामला हाईकोर्ट में लंबित है, RTI से हुआ खुलासा

Highlightsसेना के गोला-बारूद उप-डिपो के 1,000 गज के भीतर किसी भी संरचना का निर्माण करने पर रोक है।सिंह ने बान में 4 गोला-बारूद उप-डिपो की चारदीवारी से 580 गज के भीतर निर्माण किया है।मुख्य सूचना आयोग (सीआईसी) में दूसरी अपील दायर करने के बाद हासिल हुई जानकारी।

श्रीनगर:सीबीआई ने रक्षा अधिनियम का उल्लंघन कर नगरोटा के निकट बान गांव में एक बंगला बनाने के संबंध में जम्मू कश्मीर के पूर्व उपमुख्यमंत्री डॉ निर्मल सिंह, उनकी पत्नी ममता सिंह और सरकारी अधिकारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत प्राथमिकी दर्ज करने की मांग वाली शिकायत को बंद कर दिया है।

उक्त अधिनियम के तहत, सेना के गोला-बारूद उप-डिपो के 1,000 गज के भीतर किसी भी संरचना का निर्माण करने पर रोक है।

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, सीबीआई के मुख्य जन सूचना अधिकारी (सीपीआईओ) ने एक आरटीआई के जवाब में खुलासा किया कि सक्षम प्राधिकारी द्वारा शिकायत की जांच की गई और यह निष्कर्ष निकाला गया कि चूंकि मामला हाईकोर्ट के समक्ष लंबित है, इसलिए सीबीआई की तरफ से शिकायत को बंद किया जाता है।

सीबीआई के सीपीआईओ ने यह जवाब वकील शेख शकील अहमद की आरटीआई पर दिया है जिन्होंने मुख्य सूचना आयोग (सीआईसी) में दूसरी अपील दाखिल कर जानकारी मांगी थी।

निर्मल सिंह और उनकी पत्नी ममता सिंह द्वारा कथित अवैध बंगले के निर्माण के संबंध में शकील ने 21 सितंबर, 2020 को सीबीआई में शिकायत दर्ज कर उनके खिलाफ भ्रष्टाचार रोकथाम अधिनियम-1988 और आईपीसी के प्रावधानों के तहत प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की थी।

उन्होंने बान में 4 गोला-बारूद उप-डिपो की चारदीवारी से 580 गज के भीतर निर्माण कराने वाले सरकारी अधिकारियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने की भी मांग की थी।

जबकि सेना पहले ही जम्मू कश्मीर और लद्दाख हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटा चुकी है और अपने गोला-बारूद डिपो के पास बंगले के निर्माण के खिलाफ सरकारी अधिकारियों को निर्देश देने की मांग कर रही है तो वहीं, जम्मू विकास प्राधिकरण ने बंगले को ध्वस्त करने के लिए नोटिस जारी किया है जिसे निर्मल सिंह की पत्नी ने अदालत में चुनौती दी है।

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