भारत, नीदरलैंड के बीच कारोबार, जल क्षेत्र, जलवायु परिवर्तन, कृषि, प्रौद्योगिकी में सहयोग पर चर्चा

By भाषा | Published: April 9, 2021 09:34 PM2021-04-09T21:34:54+5:302021-04-09T21:34:54+5:30

Discussion between India, Netherlands on cooperation in business, water sector, climate change, agriculture, technology | भारत, नीदरलैंड के बीच कारोबार, जल क्षेत्र, जलवायु परिवर्तन, कृषि, प्रौद्योगिकी में सहयोग पर चर्चा

भारत, नीदरलैंड के बीच कारोबार, जल क्षेत्र, जलवायु परिवर्तन, कृषि, प्रौद्योगिकी में सहयोग पर चर्चा

नयी दिल्ली, नौ अप्रैल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नीदरलैंड के अपने समकक्ष मार्क रूट के साथ द्विपक्षीय संबंधों के विविध आयामों, साझा हितों से जुड़े क्षेत्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय मुद्दों, कोविड-19 के बाद आर्थिक सुधार, जलवायु परिवर्तन, हिन्द प्रशांत क्षेत्र जैसे मुद्दों पर चर्चा की । दोनों देशों ने स्वच्छ भारत, डिजिटल इंडिया, मेक इन इंडिया, सागरमाला जैसी परियोजना पर सहयोग बढ़ाने पर सहमति व्यक्त की ।

विदेश मंत्रालय के संयुक्त सचिव (पश्चिमी यूरोप) संदीप चक्रवर्ती ने संवाददाताओं को बताया, ‘‘ भारत और नीदरलैंड के बीच पारंपरिक रूप से मजबूत संबंध रहे हैं । दोनों नेताओं ने कोविड बाद आर्थिक सुधार, अंतरिक्ष, जलवायु परिवर्तन, हिन्द प्रशांत क्षेत्र, जल क्षेत्र में सहयोग पर चर्चा की ।’’

उन्होंने बताया कि दोनों देशों के बीच जल क्षेत्र में मजबूत संबंध है और इस बारे में विशेषतौर पर चर्चा हुई ।

विदेश मंत्रालय के अनुसार, दोनों देशों ने ‘‘जल विषय पर सामरिक गठजोड़’’ बनाने पर सहमति व्यक्त की । दोनों नेताओं ने मोटे अनाज, बाजरा के क्षेत्र में सहयोग पर चर्चा की ।

नीदरलैंड के प्रधानमंत्री के साथ डिजीटल माध्यम से शिखर बैठक के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘‘हमारे संबंध लोकतंत्र और कानून का शासन जैसे साझा मूल्यों पर आधारित हैं। जलवायु परिवर्तन, आतंकवाद, महामारी जैसी वैश्विक चुनौतियों पर हमारा रूख एक समान है। ’’

उन्होंने कहा कि हिन्द प्रशांत लचीली आपूर्ति श्रृंखला और वैश्विक डिजीटल प्रशासन जैसे नए क्षेत्रों में भी हमारे बीच एकरूपता बन रही है।

मोदी ने कहा, ‘‘आज हम जल को लेकर अपने सामरिक गठजोड़ से इस सिलसिले को एक नया आयाम देंगे। निवेश प्रोत्साहन के लिए त्वरित व्यवस्था वाले तंत्र की स्थापना भी हमारे मजबूत आर्थिक सहयोग को नयी गति देगा। ’’

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘ मुझे विश्वास है कि कोविड बाद के काल में कई नए अवसर उत्पन्न होंगे जिनमें हमारे जैसे समान विचार वाले देश आपसी सहयोग बढ़ा सकते हैं।’’

शिखर बैठक के बाद जारी संयुक्त बयान के अनुसार, दोनों नेताओं ने कारोबार, अर्थव्यवस्था, जल प्रबंधन, कृषि क्षेत्र, स्मार्ट सिटी, शहरी आवागमन, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी सहयोग, सार्वजनिक स्वास्थ्य एवं स्वास्थ्य देखरेख जैसे विविधि क्षेत्रों में सहयोग सहित द्विपक्षीय संबंधों की गहन समीक्षा की।

इसमें कहा गया है कि, ‘‘ दोनों नेताओं ने अंतरराष्ट्रीय शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिये कानून पर आधारित बहुपक्षीय व्यवस्था को लेकर प्रतिबद्धता व्यक्त की । ’’

भारत और नीदरलैंड के प्रधानमंत्री ने कोरोना वायरस महामारी की स्थिति पर भी चर्चा की और महामारी से निपटने में स्वास्थ्य कर्मियों एवं अन्य अग्रिम मोर्चे पर तैनात कर्मचारियों के योगदान की सराहना की ।

दोनों नेताओं ने कोविड-19 रोधी टीके का समान एवं वहनीय वितरण सुनिश्चित करने की प्रतिद्धता दोहरायी और इस दिशा में सहयोग करने पर सहमति व्यक्त की ।

दोनों नेताओं ने भारत और नीदरलैंड के बीच डिजीटल कारोबारी मिशन की सफलता का भी उल्लेख किया ।

संयुक्त बयान के अनुसार, दोनों नेताओं ने इस बात को रेखांकित किया कि जल के क्षेत्र में भारत-नीदरलैंड गठजोड़ काफी मजबूत, विविधतपूर्ण एवं एक दूसरे के लिये फायदेमंद है । इसमें गंगा सहित नदी जल प्रदूषण से निपटने, डेल्टा प्रबंधन, जल प्रबंधन को प्रोत्साहन करने, बर्बाद होने वाले जल का पुनर्चक्रण, जल गुणवत्ता जैसे मुद्दे शामिल हैं ।

दोनों पक्षों ने भारत में जल से जुड़ी चुनौतियों और इस क्षेत्र में नीदरलैंड की विशेषज्ञता को रेखांकित किया और ‘‘जल विषय पर सामरिक गठजोड़’’ बनाने पर सहमति व्यक्त की ।

दोनों नेताओं ने इस बात पर सहमति व्यक्त की कि कोविड-19 महामारी के कारण उत्पन्न स्थितियों के बावजूद दोनों देशों के बीच निवेश का प्रवाह जारी रहे । वर्ष 2019-20 में नीदरलैंड, भारत में तीसरा सबसे बड़ा प्रत्यक्ष विदेशी निवेश करने वाला देश और भारत, नीदरलैंड में चौथा सबसे बड़ा एफडीआई निवेशक बना हुआ है ।

दोनों पक्षों ने निवेश सुविधा और मुद्दों के समाधान के लिये द्विपक्षीय त्वरित निपटान व्यवस्था स्थापित करने की संयुक्त घोषणा का स्वागत किया । दोनों देशों ने स्टार्ट अप से जुड़े पहल, भारत में निवेश करें जैसे कार्यक्रमों का जिक्र किया और स्वास्थ्य, कृषि एवं साइबर सुरक्षा जैसे क्षेत्रों में सहयोग को प्राथमिकता वाले क्षेत्र के रूप में रेखांकित किया ।

संयुक्त बयान में कहा गया है कि भारत ने कृषि को ग्रामीण क्षेत्रों में विकास का इंजन और किसानों की आय दोगुना बनाने का महत्वाकांक्षी एजेंडा बनाया है । दोनों नेताओं ने कृषि क्षेत्र में सहयोग पर सहमति व्यक्त की और वानिकी, डेयरी, पोल्ट्री जैसे क्षेत्रों में सार्वजनिक एवं निजी क्षेत्र के सहयोग के अवसरों को रेखांकित किया ।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि पूरे यूरोप में भारतीय मूल की बहुत बड़ी तादाद में लोग रह रहे हैं लेकिन इस कोरोना काल खंड में, इस महामारी में नीदरलैंड सरकार ने भारतीय मूल के लोगों की, जिस प्रकार से चिंता की, उनको संभाला, उसके लिए वह उनका हृदय से आभार व्यक्त करते हैं।

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Web Title: Discussion between India, Netherlands on cooperation in business, water sector, climate change, agriculture, technology

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