'अजित डोभाल के नाम से झूठ फैला रहा है चीन, मीडिया न दे तवज्जो', विदेश मंत्रालय ने लताड़ा

By स्वाति सिंह | Published: September 8, 2020 03:11 PM2020-09-08T15:11:31+5:302020-09-08T15:24:25+5:30

भारतीय सेना ने मंगलवार को आधिकारिक बयान देते हुए कहा, 'हमारी ओर से लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर स्थिति सामान्य करने की कोशिश जारी है, जबकि चीन उकसाने वाली हरकतें कर रहा है। हमने एलएसी पार नहीं की और न ही फायरिंग या कोई ऐसी अग्रेसिव हरकत नहीं की है।

'China is spreading lies in the name of Ajit Doval, the media does not pay attention: MEA | 'अजित डोभाल के नाम से झूठ फैला रहा है चीन, मीडिया न दे तवज्जो', विदेश मंत्रालय ने लताड़ा

पीएलए ने सोमवार देर रात को आरोप लगाया था कि भारतीय सैनिकों ने एलएसी पार की और पूर्वी लद्दाख में पेगोंग झील के पास चेतावनी देने के लिए “खराब तरीके से गोलियां चलाईं।”

Highlightsविदेश मंत्रालय ने चीन के LAC पर फायरिंग के आरोपों को खारिज किया है। विदेश मंत्रालय ने कहा, 'हमने ग्लोबल टाइम्स के साथ ही चीनी मीडिया में चल रहे रिपोर्ट्स देखें।

नई दिल्ली: भारत-चीन सीमा पर चल रहा गतिरोध अब भी जारी है। इसी बीच अब भारतीय सेना के बाद विदेश मंत्रालय ने चीन के LAC पर फायरिंग के आरोपों को खारिज किया है। साथ ही विदेश मंत्रालय ने कहा, 'हमने ग्लोबल टाइम्स के साथ ही चीनी मीडिया में चल रहे रिपोर्ट्स देखें। इसमें NSA अजित डोभाल को लेकर भी कुछ कमेंट्स किए गए हैं। ये रिपोर्ट पूरी तरह से फर्जी और झूठे हैं। इनका कोई आधार नहीं है। हम मीडिया से ऐसी रिपोर्टिंग से परहेज करने का आग्रह करते हैं।'

विदेश मंत्रालय ने मंगलवार को अपने बयान में कहा है, ‘हमने चीनी मीडिया (चाइना डेली, ग्लोबल टाइम्स) में कुछ आर्टिकल देखे हैं जिसमें NSA अजित डोभाल को लेकर बात की जा रही है। हम साफ करना चाहते हैं कि ये सभी रिपोर्ट्स पूरी तरह से गलत हैं, ऐसे में इस तरह की खबरों से बचने की अपील करते हैं’।

चीन के साथ रिश्तों पर जयशंकर ने कही ये बात 

चीन के विदेश मंत्री वांग यी के साथ मॉस्को में संभावित वार्ता से पहले विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सोमवार को कहा कि चीन के साथ सीमा पर बनी स्थिति को पड़ोसी देश के साथ समग्र रिश्तों की स्थिति से अलग करके नहीं देखा जा सकता। विदेश मंत्री ने पूर्वी लद्दाख के हालात को ‘बहुत गंभीर’ करार दिया और कहा कि ऐसे हालात में दोनों पक्षों के बीच राजनीतिक स्तर पर ‘बहुत बहुत गहन विचार-विमर्श’ की जरूरत है। वह अंग्रेजी दैनिक इंडियन एक्सप्रेस के एक संवाद सत्र को संबोधित कर रहे थे।

उन्होंने अपनी नयी प्रकाशित पुस्तक ‘द इंडिया वे’ का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘सीमा की स्थिति को संबंधों की स्थिति से अलग करके नहीं देखा जा सकता। मैंने इस पुस्तक को गलवान घाटी की दुर्भाग्यपूर्ण घटना से पहले लिखा था।’’ पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में 15 जून को संघर्ष में 20 भारतीय सैन्यकर्मियों के शहीद होने के बाद वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर तनाव काफी बढ़ गया था।

भारत ने कभी पार नहीं की एलएएसी: भारतीय सेना

भारतीय सेना ने पूर्वी लद्दाख में सैन्य उकसावे के चीन की जनमुक्ति सेना (पीएलए) के आरोपों को मंगलवार को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि उसने कभी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पार नहीं की या गोलीबारी समेत किसी आक्रामक तरीके का इस्तेमाल नहीं किया।

पीएलए ने सोमवार देर रात को आरोप लगाया था कि भारतीय सैनिकों ने एलएसी पार की और पूर्वी लद्दाख में पेगोंग झील के पास चेतावनी देने के लिए “खराब तरीके से गोलियां चलाईं।” एक बयान में, भारतीय सेना ने कहा कि यह पीएलए है जो समझौतों का खुलेआम उल्लंघन कर रही है और आक्रामक युक्तियां अपना रही है जबकि सैन्य, कूटनीतिक एवं राजनीतिक स्तर पर बातचीत जारी है।

English summary :
In an official statement on Tuesday, the Indian Army said, "We are trying to normalize the situation on the Line of Actual Control (LAC), while China is doing provocative actions." We did not cross the LAC nor did any firing or any such offensive act.


Web Title: 'China is spreading lies in the name of Ajit Doval, the media does not pay attention: MEA

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