लोकसभा चुनाव से पहले ही बिहार की राजनीति में खूब गहमागहमी दिख रही है। एक तरफ एनडीए गठबंधन बिखरता नजर आ रहा है तो वहीं, दूसरी तरह महागठबंधन की राह तेजी आ गई है। बताया जा रहा है कि गुरुवार तक महागठबंधन का ऐलान हो सकता है। इसके साथ ही पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा की रालोसपा भी (यूपीए) में शामिल हो सकती है।
इस बात पर इशारा करते हुए बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने कहा 'आज शाम तक यह स्थिति स्पष्ट हो जाएगी ओअर आपको भी पता चल जाएगा, हमने और भी लोगों को आमंत्रित किया है।अगर उपेंद्र कुशवाहा जी भी देश का भला चाहते हैं, हमने उन्हें भी आमंत्रित किया है। क्षेत्रीय दलों को नष्ट करने के प्रयास होते रहे हैं, यहां तक कि एलजेपी भी मोदी जी के गुट में खुश नहीं है, जिससे यह बात साबित होती है।'
उपेंद्र कुशवाहा यूपीए में हो सकते हैं शामिल
रालोसपा ने हाल ही में भाजपा से गठबंधन तोड़ लिया था। बता दें कि राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (रालोसपा) के एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि उनकी पार्टी और संप्रग घटक दलों के बीच बातचीत लगभग तय हो गई है और संप्रग में शामिल होने का ऐलान कुशवाहा बृहस्पतिवार को एक प्रेस कांफ्रेंस में कर सकते हैं।
आरजेडी नेता तेजस्वी यादव, हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (सेक्यूलर) संस्थापक जीतन राम मांझी और कांग्रेस के एक प्रतिनिधि घोषणा के दौरान मौजूद रह सकते हैं। विपक्षी नेता शरद यादव भी कार्यक्रम में शामिल हो सकते हैं। वरिष्ठ कांग्रेस नेता अहमद पटेल ने कुशवाहा के भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन छोड़ने के बाद उनसे मुलाकात की थी। यूपीए का मानना है कि उससे हाथ मिलाने का कुशवाहा का फैसला उसे बिहार में एनडीए के खिलाफ माहौल बनाने में मदद करेगा। बीजेपी के अलावा बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जदयू और केंद्रीय मंत्री राम विलास पासवान की लोजपा राजग के अन्य घटक दल हैं।