अयोध्या जमीन विवाद पर मुस्लिम पक्षकार के दावा छोड़ने की अटकलें, जानें क्या है सच्चाई

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: October 16, 2019 11:36 AM2019-10-16T11:36:58+5:302019-10-16T11:36:58+5:30

सुनवाई से ठीक पहले ऐसी अटकलें लगाई जा रही थी कि मुस्लिम पक्षकार सुन्नी वक्फ बोर्ड जमीन पर अपना दावा छोड़ सकता है। जानें क्या है सच्चाई...

Ayodhya dispute: is Muslim party leaving claim on disputed land, here is the truth | अयोध्या जमीन विवाद पर मुस्लिम पक्षकार के दावा छोड़ने की अटकलें, जानें क्या है सच्चाई

अयोध्या जमीन विवाद पर मुस्लिम पक्षकार के दावा छोड़ने की अटकलें, जानें क्या है सच्चाई

Highlightsसुनवाई शुरू होने पर इस विषय में कोई चर्चा नहीं हुई और ये अकटलें बेबुनियाद पाई गई। अयोध्या विवाद पर सुप्रीम कोर्ट में 40वें दिन की सुनवाई शुरू हो चुकी है।

अयोध्या विवाद पर सुप्रीम कोर्ट में 40वें दिन की सुनवाई शुरू हो चुकी है। इस बीच सुनवाई से ठीक पहले ऐसी अटकलें लगाई जा रही थी कि मुस्लिम पक्षकार सुन्नी वक्फ बोर्ड जमीन पर अपना दावा छोड़ सकता है। कहा जा रहा था कि सुन्नी वक्फ बोर्ड ने सुप्रीम कोर्ट में केस वापस लेने का हलफनामा दाखिल कर चुका है। हालांकि सुनवाई शुरू होने पर इस विषय में कोई चर्चा नहीं हुई और ये अकटलें बेबुनियाद पाई गई। 

मुस्लिम पक्षकार इबकाल अंसारी के वकील ने भी ऐसी किसी संभावना से इनकार किया है। हालांकि उन्होंने कहा कि अगर सुन्नी वक्फ बोर्ड मध्यस्थता के लिए सामने आता है तो वह भी इससे पीछे नहीं हटेंगे। एक टीवी चैनल में इकबार अंसारी ने कहा कि कोर्ट जो भी फैसला होगा वो हमें मंजूर होगा।

सुनवाई शुरू होने के बाद पांच जजों की बेंच के अध्यक्ष और मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई ने कहा कि अब बहुत हो चुका। आज शाम पांच बजे तक मामले की बहस हर हाल में पूरी होगी। गोगोई ने इस दौरान हिंदू महासभा की इंटरवेंशन याचिका को खारिज कर दिया। गौरतलब है कि अयोध्या मामला अपने आखिरी चरण में हैं ऐसे में पहले से ही वहां धारा 144 लगाई जा चुकी है। ये 10 दिसंबर तक लागू रहेगी।

सीजेआई रंजन गोगोई, न्यायामूर्ति एस.ए. बोबड़े, न्यायामूर्ति डी.वाई. चंद्रचूड़, न्यायामूर्ति अशोक भूषण और न्यायामूर्ति एस. अब्दुल नजीर की पीठ के सामने अपीलों का समूह इलाहाबाद उच्च न्यायालय के 2010 के फैसले के खिलाफ है, जिसमें फैसला सुनाया गया था कि अयोध्या की 2.77 एकड़ भूमि को 3 भागों में विभाजित किया जाए, जिसमें 1/3 हिस्से में राम लला या शिशु राम के लिए हिंदू सभा द्वारा प्रतिनिधित्व किया जाना है। इस्लामिक सुन्नी वक्फ बोर्ड में 1/3 और शेष 1/3 हिस्सा हिंदू धार्मिक संप्रदाय निर्मोही अखाड़ा को दिया जाए। 

Web Title: Ayodhya dispute: is Muslim party leaving claim on disputed land, here is the truth

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