नयी दिल्ली, 27 अप्रैल उत्तर दिल्ली नगर निगम (एनडीएमसी) ने अपने कर्मचारियों को बकाया वेतन और पेंशन देने के लिए मंगलवार को दिल्ली उच्च न्यायालय से उसे और वक्त देने का अनुरोध किया और कहा कि कोविड-19 के मामले बढ़ने के कारण इसमें देरी हो गई है।
नगर निगम ने कहा कि उसने डॉक्टरों, पराचिकित्सकों, नर्सिंग स्टाफ और सफाई कर्मचारियों समेत कोरोना योद्धाओं को फरवरी 2021 तक वेतन दे दिया है जबकि शिक्षकों और पेंशन प्राप्त करने वालों को जनवरी तक भुगतान कर दिया गया है।
अदालत ने मौखिक तौर पर कहा, ‘‘हमने एनडीएमसी को सारा बकाया चुकाने का निर्देश दिया था। हमें बताइये कि हम क्या कार्रवाई करें।’’
न्यायमूर्ति विपिन सांघी और न्यायमूर्ति रेखा पल्ली की पीठ को एनडीएमसी की ओर से पेश हुए वकील ने सूचित किया कि उन्होंने अदालत में एक अर्जी दायर कर दिल्ली सरकार को करीब 250 करोड़ रुपये की पहली किस्त जारी करने का निर्देश देने की मांग की।
बहरहाल अदालत ने मामले पर सुनवाई के लिए 31 मई की तारीख तय कर दी।
अदालत ने दिल्ली सरकार को एनडीएमसी की अर्जी पर जवाब देने के लिए भी कहा है।
दिल्ली सरकार की ओर से पेश वरिष्ठ वकील संदीप सेठी ने कहा कि नगर निगम कर्मचारियों को वेतन देने के लिए अग्रिम राशि नहीं मांग सकता।
पूर्वी दिल्ली नगर निगम (ईडीएमसी) की ओर से पेश वकील मनु चतुर्वेदी ने अदालत को बताया कि उन्होंने मार्च तक सभी कर्मचारियों और सेवानिवृत्त कर्मचारियों को वेतन तथा पेंशन का भुगतान कर दिया है और उन पर कोई बकाया नहीं है।
एनडीएमसी और दक्षिणी एमसीडी की ओर से पेश वकील दिव्या प्रकाश पांडे ने कहा कि दक्षिण दिल्ली नगर निगम ने मार्च तक वेतन और पेंशन का भुगतान कर दिया है।
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