प्रयागराज: उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ की आदेश के बाद प्रयागराज जिला मजिस्ट्रेट भानु चन्द्र गोस्वामी ने पूर्व बाहुबली सांसद अतीक अहमद की अवैध रूप से अर्जित की गयी सात अचल संपत्तियों को कुर्क करने का आदेश 13 अगस्त को दिया था। जिसपर अमल करते हुए प्रयागराज के सिटी एसपी ने आज (26 अगस्त) कहा कि DM साहब के आदेशानुसार पूर्व सांसद अतीक अहमद की 7 संपत्तियां खुल्दाबाद थाना क्षेत्र (4), धूमनगंज (2) और (1) सिविल लाइन से ज़ब्त की गई। ये अपराध द्वारा अर्जित संपत्ति की श्रेणी में आती हैं। 13 अन्य संपत्तियों की रिपोर्ट DM साहब को दी गई है जो विचाराधीन है।
इस मामले पर योगी आदित्यनाथ कैबिनेट के मंत्री ने प्रतिक्रिया दी है। अतीक अहमद की संपत्तियां जब्त करने पर यूपी मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा, योगी सरकार का एक ही मकसद है भ्रष्टाचार और भू माफिया के खिलाफ जीरो टॉलरेंस। कानून अपना काम कर रहा है। इस तरह की कार्रवाइयां पूरे प्रदेश में हो रही हैं। यूपी भू माफिया और अपराधी मुक्त बने ये कोशिश जारी है।
जिला मजिस्ट्रेट ने अतीक अहमद पर इससे पहले कार्रवाई करते हुए अतीक अहमद सहित 23 व्यक्तियों के शस्त्र लाइसेंस भी निरस्त किये थे। विज्ञप्ति के मुताबिक, जिला मजिस्ट्रेट ने विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज मुकदमों के आधार पर 23 लोगों के शस्त्र लाइसेंस निलंबित करते हुए निरस्त्रीकरण हेतु नोटिस जारी किया था।
सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर अतीक अहमद को उत्तर प्रदेश से गुजरात की एक जेल में स्थानांतरित किया गया है। अतीक अहमद साल 1989 में पहली बार इलाहाबाद (पश्चिमी) विधानसभा सीट से अतीक विधायक बना। इसके बाद 1991 और 1993 के चुनाव अतीक निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर लड़ा और फिर विधायक बना। 1996 में इसी सीट पर अतीक को समाजवादी पार्टी ने टिकट दिया और वह फिर से विधायक चुना गया।
2004 के लोकसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी ने अतीक अहमद को फूलपुर संसदीय क्षेत्र से टिकट दिया और वह सांसद बना। अतीक अहमद यूपी का एक ऐसा सांसद था, जिसे इनामी सांसद भी कहा जाता था। बसपा विधायक राजू पाल की हत्या में नामजद आरोपी होने के बाद भी अतीक सांसद बना रहा था।