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HIV का नया दुर्लभ प्रकार आया सामने, जानें एचआईवी के संकेत और लक्षण

By उस्मान | Updated: November 8, 2019 15:36 IST

1980 के दशक से लेकर 2001 के बीच लिए गए खून के नमूनों में से तीन व्यक्तियों में एचआईवी-1 समूह एम का उपप्रकार 'एल' मिला है।

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अमेरिका की स्वास्थ्य सेवा कंपनी ने ह्यमून इम्यूनोडेफिशिएंसी वायरस (एचआईवी) के एक नये उपप्रकार की पहचान करने का दावा करते हुए कहा कि उनकी खोज दिखाती है जीनों के समूह के अनुक्रमण (जीनोम सीक्वेंसिंग) में अग्रणी रहने से अनुसंधानकर्ताओं को जीन में बदलाव यानि म्यूटेशन को रोकने में मदद मिल रही है। 

अबॉट प्रयोगशाला ने कहा कि 1980 के दशक से लेकर 2001 के बीच लिए गए खून के नमूनों में से तीन व्यक्तियों में एचआईवी-1 समूह एम का उपप्रकार 'एल' मिला है। वर्ष 2000 में जारी दिशा-निर्देशों के मुताबिक किसी नये उपप्रकार की घोषणा के लिए तीन मामलों का अलग अलग पता चलना चाहिए।

समूह एम एचआईवी-1 विषाणु का सबसे आम रूप है। उपप्रकार एल इस समूह का 10वां और दिशा-निर्देश जारी होने के बाद से पहला उपप्रकार है जिसकी पहचान हुई है।

एचआईवी/एड्स दुनिया में सबसे बड़े स्वास्थ्य खतरों में एक है। डब्ल्यूएचओ के अनुसार एचआईवी ने अब तक 70 मिलियन से अधिक लोगों को अपनी चपेट में लिया है और लगभग 35 मिलियन लोग मारे गए हैं। फिलहाल दुनियाभर में 37 मिलियन से से अधिक लोग एचआईवी की चपेट में हैं। 

एचआईवी (HIV) किसी को भी हो सकता है। महिलाओं और बच्चों में इसके लक्षण अलग-अलग हो सकते हैं। यह वायरस इम्युनिटी सिस्टम को इतना कमजोर कर देता है कि वो किसी भी तरह के संक्रमण का सामना नहीं कर पाता है और व्यक्ति धीरे-धीरे विभिन्न बीमारियों का शिकार होता चला जाता है। 

महिलाओं में एचआईवी के लक्षण

महिलाओं में एचआईवी के लक्षणों में थकान, सिर दर्द, हल्का बुखार, खांसी, छींक आना, नाक बहना या बंद होना शामिल हैं। यह लक्षण दो से छह हफ्तों तक रह सकते हैं। ये लक्षण सर्दी या फ्लू से संबंधित हो सकते हैं, इसलिए जल्दबाजी में एचआईवी के साथ नहीं जोड़ सकता है।

बेहतर है आप डॉक्टर से सलाह लें ताकि समय रहते इलाज शुरू किया जा सके। इलाज के जरिए वायरस को फैलने से रोका जा सकता है। इसके अलावा कुछ लक्षणों में लिम्फ नोड्स की सूजन, वैजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन, अचानक वजन कम होना, चिड़चिड़ापन, त्वचा का रंग बदलना, पीरियड्स चेंज होना और पेल्विक इंफ्लेमेटरी डिजीज आदि भी शामिल हैं। 

बच्चों में एचआईवी के लक्षण

बच्चों में एचआईवी के लक्षण उम्र पर निर्भर करते हैं। हालांकि प्रत्येक शिशु, बच्चा या किशोर में अलग-अलग लक्षण हो सकते हैं। बच्चों में मुख्यतः फेंकने में परेशानी, पेट की सूजन, लिम्फ नोड्स में सूजन, डायरिया, निमोनिया, साइनस, कान में संक्रमण, चिकनपॉक्स और किडनी डिजीज शामिल हैं।

एचआईवी के कारण

एक संक्रमित व्यक्ति के साथ कंडोम पहने बिना गुदा या योनि संभोग करने सेसिरिंज और सुइयों को किसी ऐसे व्यक्ति के साथ साझा करना जिसे पहले से ही एचआईवी एड्स है एक शल्य चिकित्सा उपकरण या एक सुई लगना, जो एचआईवी संक्रमित रक्त से दूषित है संक्रमित योनि स्राव, वीर्य, एचआईवी संक्रमित रक्त में घावों और खुले घावों के संपर्क में आ रहा है शिशु अपनी मां से एचआईवी एड्स विकसित कर सकते हैं जो स्तनपान या जन्म के दौरान पहले ही संक्रमित हो चुके हैं 

एचआईवी का इलाज

पिछले कई सालों में ट्रीटमेंट में काफी सुधार हुआ है। डॉक्टर मानते हैं कि एचआईवी से पीड़ित कोई मरीज अगर बेहतर ट्रीटमेंट और डाइट ले रहा है, तो वो लंबा जीवन जी सकता है। मरीज का इलाज कैसा चल रहा है। बेहतर जीवन के लिए डाइट, एक्सरसाइज का भी अहम रोल है। दूसरी अन्य गंभीर रोगों का शिकार एचआई के मरीज का इलाज मुश्किल होता है। एचआईवी के इलाज में मरीज की भावनात्मक देखभाल भी शामिल है।  

टॅग्स :एड्सहेल्थ टिप्समेडिकल ट्रीटमेंट
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