जहरीली हवा और उससे होने वाली बीमारियों को जड़ से खत्म कर सकते हैं ये 5 आयुर्वेदिक उपाय

By उस्मान | Published: November 2, 2018 07:31 AM2018-11-02T07:31:00+5:302018-11-02T07:31:00+5:30

डॉक्टर और एक्सपर्ट्स का मानना है कि इस जहरीली हवा से लोगों को अस्थमा, खांसी, आंखों में जलन, सिरदर्द जैसी कई समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। हाल ही में डबल्यूएचओ की एक रिपोर्ट आई है जिसमें बताया गया है कि पिछले साल जहरीली हवा के कारण भारत में लगभग एक लाख बच्चों की मौत हो गई थी।

Delhi smog: Deteriorating air quality index, 5 Ayurveda remedies to cure illness due to poisonous air | जहरीली हवा और उससे होने वाली बीमारियों को जड़ से खत्म कर सकते हैं ये 5 आयुर्वेदिक उपाय

फोटो- पिक्साबे

इन दिनों दिल्ली-एनसीआर का मौसम पूरी तरह बिगड़ा हुआ है। आसपास के पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में किसानों द्वारा फसल जलाने से धुंआ दिल्ली की तरफ बढ़ रहा है जिसकी वजह से दिल्ली की हवा जहरीले हो गई है। दिल्ली में बुधवार की दोपहर थोड़ा सुधार देखने को मिला लेकिन मंगलवार की शाम 401 के 'गंभीर' स्तर को छूने के बाद एयर क्वालिटी इंडेक्स या वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 360 तक बना रहा। गुरुग्राम को छोड़कर, दिल्ली के अन्य इलाकों में भी वायु गुणवत्ता में मामूली सुधार हुआ। गाजियाबाद, फरीदाबाद और नोएडा ने 400 से नीचे एक्यूआई दर्ज की। हालांकि, गुरुग्राम में वायु गुणवत्ता 414 के एक्यूआई के साथ 'गंभीर' रही। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने साफ चेतावनी दी है कि दिवाली आने तक हवा और ज्यादा जहरीली हो सकती है। इसके अलावा लोगों को गाड़ियों का कम इस्तेमाल करने और निर्माण का काम रोकने को कहा है। इतना ही नहीं सरकार की धुंआ निकालने वाली फैक्ट्री पर भी नजर है। डॉक्टर और एक्सपर्ट्स का मानना है कि इस जहरीली हवा से लोगों को अस्थमा, खांसी, आंखों में जलन, सिरदर्द जैसी कई समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। हाल ही में डबल्यूएचओ की एक रिपोर्ट आई है जिसमें बताया गया है कि पिछले साल जहरीली हवा के कारण भारत में लगभग एक लाख बच्चों की मौत हो गई थी। जाहिर है अगर इस बार भी लोग प्रदूषण को रोकने में विफल हुए तो, लाखों की मौत हो सकती है। हम आपको कुछ उपाय बता रहे हैं जिनसे आपको जहरीले हवा से बचने में मदद मिल सकती है। 

1) नाक को साफ करके दूषित हवा में शामिल प्रदूषकों के कारण होने वाली एलर्जी को रोका जा सकता है। रोजाना सुबह बादाम का तेल या गाय घी की दो बूंद नाक में डालकर साफ करें। इससे सांस के साथ जाने वाली प्रदूषक कणो को रोकने में मदद मिलती है। 

2) नाक ही हमारे शरीर का मात्र एक ऐसा अंग है जो हवा में मौजुद प्रदूषको को रोकने के लिए सबसे अधिक फिल्टर है। तिल के तेल को नाक के अंदर खींचने से आप कुछ देर तक इस स्थिति से बच सकते हैं। आपको लगभग 15 मिनट तक अपने मुंह में एक चम्मच तिल का तेल रख कर सांस अंदर बहार करने के बाद फिर उसे उगल देना है। इससे हानिकारक बैक्टीरिया साफ होता है। 

3) प्राणायाम करने से भी आपको फायदा मिल सकता है। पांच भागों में गई वायु पांच तरह से फायदा पहुंचाती है, लेकिन बहुत से लोग जो श्वास लेते हैं वह सभी अंगों को नहीं मिल पाने के कारण बीमार रहते हैं। प्राणायाम इसलिए किया जाता है ताकि सभी अंगों को भरपूर वायु मिल सके, जो कि बहुत जरूरी है।

4) आयुर्वेदिक मालिश से आपको तुरंत फायदा मिल सकता है। प्रत्येक मनुष्य को नियमित अभ्यंग आवश्यक है। हालांकि प्रतिदिन का स्व-अभ्यंग पर्याप्त है लेकिन सभी को समय समय पर एक अच्छी अभयंग मालिश लेनी चाहिए। अभ्यंग त्वचा को मुलायम बनाता है और वात के कारण त्वचा के रूखेपन को कम कर वात को नियंत्रित करने मदद मिलती है।

5) नीम का पानी एक ऐसा उपाय है जिसे पीने से आपकी आधी बीमारियां बिना दवा के ही ठीक हो सकती हैं। नीम ऐसा ही एक औषधीय पौधा है जिसके हर हिस्से से शरीर को कुछ न कुछ फायदे हैं। इससे आपको सांस लेने में दिक्कत जैसी समस्याएं दूर हो सकती हैं। 

Web Title: Delhi smog: Deteriorating air quality index, 5 Ayurveda remedies to cure illness due to poisonous air

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