बिहार के गोपालगंज में 15 लाख घूस नहीं मिलने से नाराज सिंचाई विभाग के चीफ इंजीनियर मुरलीधर सिंह द्वारा ठेकेदार रामाशंकर सिंह को जलाकर मार देने के आरोपी बनाये जाने के बाद अब उनके भेद खुलने शुरू हो गये हैं. इस घटना के बाद आर्थिक अपराध इकाई (ईडी) के द्वारा की गई छापेमारी में जल संसाधन विभाग के फरार चीफ इंजीनियर मुरलीधर सिंह के गंडक कॉलोनी स्थित सरकारी आवास से 02 लाख 74 हजार रुपये कैश, करीब 300 निर्मित सोने के गहने बरामद किए गए हैं. इसके साथ ही जांच अधिकारियों ने कुछ महत्वपूर्ण दस्तावेज भी जब्त किए हैं, जो इस हत्याकांड से जुड़े हुए बताए जा रहे हैं. रिश्वत लेने का वीडियो वायरल भी हुआ है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार ईडी की टीम नवनिर्मित आवास के अलावा अभियंता के कार्यालय में छापेमारी की है. छापेमारी का सिलसिला देर रात तक चलता रहा. छापेमारी के दौरान ईडी की टीम के साथ सदर एसडीपीओ नरेश पासवान के अलावा कई अधिकारी मौजूद थे. वहीं सीआइडी विभाग के डीआइजी ने देर रात मृतक ठेकेदार के घर पहुंचकर बेटे राणा प्रताप सिंह से बंद कमरे में गहन पूछताछ की है.
अधिकारिक सूत्रों के मुताबिक ईडी की टीम जल संसाधन विभाग के फरार अधीक्षण अभियंता जितेंद्र सिंह, कार्यपाल अभियंता सत्येंद्र सिंह और मुख्य अभियंता मुरलीधर सिंह के पैतृक घर व ससुराल में भी छापेमारी करने की तैयारी में है.
यहां बता दें कि ठेकेदार को दर्दनाक मौत के बाद वह फरार है. इसबीच, हत्या से पहले रिश्वत मांगने का एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें जल संसाधन विभाग का कार्यपालक अभियंता सत्येन्द्र कुमार रिश्वत की मांग कर रहा है.
वीडियो में साफ दिख रहा है कि उसे घूस के तौर पर 30 हजार रुपये दिए भी गए हैं. लेकिन वह पूरे पैसे एक साथ लेने की मांग कर रहा है. इस वीडियो को मृतक ठेकेदार रमाशंकर सिंह के बेटे राणा प्रताप सिंह ने बनाया है.
इस वीडियो में साफ दिख रहा है कि जल संसाधन विभाग का कार्यपालक अभियंता अपने घर पर कुर्सी पर बैठा है. वहां उसके सामने एक व्यक्ति पैसे को लेकर बातचीत कर रहा है. इसके साथ ही टेबल पर उसे घूस देने के लिए 30 हजार रुपये जो पांच सौ के नोट है, उसे रखता है.
बातचीत के दौरान मृतक का बेटा लगातार पैसे की तंगी और बैंक अकाउंट को सीज करने की गुहार लगा रहा है. वह साफ कह रहा है की उसने जेई, एसडीइ और अन्य लोगों को उनका हिस्सा दे दिया है. अब वह कार्यपालक अभियंता के पास भी पैसे देने के लिए है. लेकिन अभी सिर्फ कुछ पैसे ले ले और बाकी कमीशन का पैसा वह चार पांच दिन में देगा. अभियंता लगातार उसकी बात सुन रहा है.
इस वीडियो के सामने आने के बाद आरोपी अभियंताओं की मुश्किलें बढ़ गई हैं. वीडियो के खुलासे के बाद पीड़ित पक्ष का जो दावा था, वह साबित होता दिख रहा है, क्योंकि मृतक ठेकेदार के बेटे का आरोप है कि 15 लाख घूस नहीं मिलने से चीफ इंजीनियर मुरलीधर सिंह, अधीक्षण अभियंता जीतेन्द्र प्रसाद सिंह और कार्यपालक अभियंता सत्येन्द्र कुमार, चीफ इंजीनियर की पत्नी ने मिलकर उनके पिता को जिन्दा जला कर उनकी हत्या कर दी.
तीन दिन बीत जाने के बावजूद ठेकेदार रामाशंकर सिंह हत्याकांड के आरोपी अभी तक फरार हैं. चीफ इंजीनियर सहित अधीक्षण अभियंता और कार्यपालक अभियंता इन सबकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस हाथ-पांव मार रही है.