आर अश्विन ने तेज गेंदबाज के रूप में की थी शुरुआत, फिर कैसे बने स्पिन के जादूगर! पिता ने किया खुलासा, जानिए पूरी कहानी

अश्विन के पिता ने कहा कि उनकी माँ चित्रा को (अश्विन की मां) कर्नाटक संगीत में रुचि है, इसलिए हमने उन्हें एक कक्षा में नामांकित किया लेकिन वह इससे निराश हो गए। जब वह सातवीं कक्षा में थे, तब उन्होंने कराटे भी अपनाया, लेकिन अंततः क्रिकेट अश्विन का सच्चा प्यार बन गया।

By शिवेन्द्र कुमार राय | Published: February 17, 2024 02:11 PM2024-02-17T14:11:49+5:302024-02-17T14:13:25+5:30

R Ashwin started as a fast bowler then become a spin magician Father revealed | आर अश्विन ने तेज गेंदबाज के रूप में की थी शुरुआत, फिर कैसे बने स्पिन के जादूगर! पिता ने किया खुलासा, जानिए पूरी कहानी

(फाइल फोटो)

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Highlightsआर अश्विन ने तेज गेंदबाज के रूप में की थी शुरुआत 500वां टेस्ट विकेट लेने की ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल कीअश्विन की क्रिकेट यात्रा में उनके पिता का अहम योगदान रहा है

नई दिल्ली: आर अश्विन ने इंग्लैंड के खिलाफ चल रही सीरीज के तीसरे मैच में 500वां टेस्ट विकेट लेने की ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की। अश्विन की क्रिकेट यात्रा में उनके पिता का अहम योगदान रहा है। यही कारण है कि अश्विन ने अपना 500वां टेस्ट विकेट अपने पिता को समर्पित किया। आर अश्विन ने कहा कि वह हर सुख-दुख में मेरे साथ रहे। 

अब हाल ही में आर अश्विन के पिता रविचंद्रन ने अपने बेटे की यात्रा को याद किया। एक बातचीत में उन्होंने अश्विन की क्रिकेट यात्रा के बारे में खुलकर बात की। उन्होंने बताया कि अश्विन की क्रिकेट यात्रा चेन्नई में वेस्ट माम्बलम की सड़कों पर टेनिस बॉल क्रिकेट से शुरू हुई थी।

बातचीत में अश्विन के पिता रविचंद्रन ने कहा, "500 विकेट का मील का पत्थर मेरे लिए एक अविस्मरणीय क्षण है। मैं लंबे समय से इसका सपना देख रहा हूं और यह विकेट मेरी आखिरी सांस तक मेरे दिमाग में चलता रहेगा। मुझे वो दिन याद आ गए जब मैं उसे अपने स्कूटर पर स्कूल और कोचिंग के लिए ले जाता था।" 

उन्होंने कहा कि एक पिता के लिए कोई इच्छा या सपना होना एक बात है लेकिन बेटे के लिए बलिदान देना अलग बात है। अश्विन ने हमें एक सपना दिखाया। पढ़ाई और खेल दोनों पर ध्यान देना आसान नहीं है। 

अश्विन के पिता रविचंद्रन ने कहा कि शुरुआत से ही अश्विन कड़ी मेहनत कर रहे हैं। जब वह नेट पर व्यस्त होता था, तो मैं उसके दोस्तों से नोट्स उधार लेता था, फोटोकॉपी लेता था और उसे सौंप देता था। हालाँकि क्रिकेट हमारे जीवन का हिस्सा बन गया था, लेकिन हम शिक्षा को नज़रअंदाज नहीं कर सकते थे। 

याद करते हुए उन्होंने कहा कि जब मैं उसे पढ़ाने बैठता तो उसकी एक शर्त थी। उसे टेलीविजन पर मैच भी देखना था। मैंने उसे कभी क्रिकेट देखने से नहीं रोका। अश्विन के पिता ने कहा कि उनकी माँ चित्रा को (अश्विन की मां) कर्नाटक संगीत में रुचि है, इसलिए हमने उन्हें एक कक्षा में नामांकित किया लेकिन वह इससे निराश हो गए। जब वह सातवीं कक्षा में थे, तब उन्होंने कराटे भी अपनाया, लेकिन अंततः क्रिकेट अश्विन का सच्चा प्यार बन गया।

अश्विन के पिता ने बताया कि शुरू में अश्विन ने sक मध्यम तेज गेंदबाज के रूप में शुरुआत की थी। लेकिन अश्विन को घुटने में समस्या आ गई। अश्विन के करियर का सबसे बड़ा मोड़ तब आया जब उन्होंने ऑफ स्पिन गेंदबाजी करना शुरू कर दिया। अश्विन के पिता ने बताया कि इस फैसले के पीछे अश्विन की मां  चित्रा थीं। चित्रा ने ही कहा था कि कि स्पिन गेंदबाजी करो। 

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