Highlights22 वर्षीय बल्लेबाज ध्रुव जुरेल को टीम में शामिल कर सभी फैंस का चौका दिया। अर्जुन अवॉर्ड विजेता मोहम्मद शमी, इशान किशन और प्रसिद्ध कृष्णा को टीम में जगह नहीं दी।अफगानिस्तान के खिलाफ टी20 सीरीज में भी किशन को बाहर रखा गया।
Dhruv Jurel story: भारतीय चयनकर्ता कभी-कभी लिक से हटकर करते हैं। एक और जहां आईसीसी विश्व कप के हीरो और अर्जुन अवॉर्ड विजेता मोहम्मद शमी, इशान किशन और प्रसिद्ध कृष्णा को टीम में जगह नहीं दी, वहीं उत्तर प्रदेश के कीपर-बल्लेबाज और 22 वर्षीय बल्लेबाज ध्रुव जुरेल को टीम में शामिल कर सभी फैंस का चौका दिया।
अफगानिस्तान के खिलाफ टी20 सीरीज में भी किशन को बाहर रखा गया
भारत ने इंग्लैंड के खिलाफ हैदराबाद और विशाखापत्तनम में होने वाले पहले दो टेस्ट मैचों के लिए उत्तर प्रदेश के कीपर-बल्लेबाज ध्रुव जुरेल को अपनी 16 सदस्यीय टीम में शामिल किया है। केएल राहुल और केएस भरत के साथ टीम में तीसरे विकेटकीपर हैं। इशान किशन पर विचार नहीं किया। अफगानिस्तान के खिलाफ टी20 सीरीज में भी किशन को बाहर रखा गया।
पिछले सीजन में आईपीएल में पदार्पण किया था
राहुल द्रविड़ ने हाल ही में खुलासा किया था कि झारखंड के खिलाड़ी ने ब्रेक के लिए अनुरोध किया था। भारत के मुख्य कोच ने कहा कि किशन घरेलू क्रिकेट खेलेंगे और खुद को चयन के लिए उपलब्ध कराएंगे। जब वह तैयार महसूस करेंगे। जुरेल सीनियर टीम के साथ मैदान में कई अनुभव हासिल करेंगे। पिछले सीजन में आईपीएल में पदार्पण किया था।
इमर्जिंग टीम्स एशिया कप के लिए टीम में नामित किया गया और फिर उन्होंने भारत ए टीम के साथ दक्षिण अफ्रीका की यात्रा की और दूसरे अनौपचारिक टेस्ट में विकेटकीपिंग की। वह उस टीम का भी हिस्सा हैं जो 17 जनवरी से अहमदाबाद में शुरू होने वाले पहले बहु-दिवसीय मैच में इंग्लैंड लायंस से भिड़ेगी।
ध्रुव जुरेल को अपनी जिंदगी का सबसे बड़ा सरप्राइज मिला
22 वर्षीय खिलाड़ी ने 15 प्रथम श्रेणी मैच खेले और 790 रन बनाए, जिसमें एक शतक और 5 फिफ्टी हैं। 249 उच्चतम स्कोर है। लिस्ट-ए में 10 मैच खेलते हुए 189 रन बनाए। टी20 में 23 मैच खेलकर 244 रन बनाए। टेस्ट सीरीज 25 जनवरी को हैदराबाद के राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम में शुरू होगी। 23वें जन्मदिन से 10 दिन से भी कम समय पहले ध्रुव जुरेल को अपनी जिंदगी का सबसे बड़ा सरप्राइज मिला।
आर्थिक तंगी के कारण 14 साल की उम्र में इस खिलाड़ी ने कई कठिनाई का सामना
उन्हें भारत से पहली बार टीम में शामिल किया गया। बेनोनी में दक्षिण अफ्रीका ए के खिलाफ भारत ए के लिए शतक (69) और उसके बाद पिछले हफ्ते केरल के खिलाफ उत्तर प्रदेश के रणजी ट्रॉफी के पहले मैच में 63 रन की पारी खेली। प्रथम श्रेणी औसत 46.47 है। आर्थिक तंगी के कारण 14 साल की उम्र में इस खिलाड़ी ने कई कठिनाई का सामना किया।
ध्रुव अपने क्रिकेट करियर के सबसे शानदार अध्याय का इंतजार कर रहे हैं। उनकी कठिनाइयों से भरी यात्रा की एक झलक है। जब से ध्रुव जुरेल में जीवन के संघर्षों को समझने की परिपक्वता आई, तब से उनके दो उद्देश्य थे। वह क्रिकेट में कुछ बड़ा करना चाहते थे, लेकिन इससे भी महत्वपूर्ण बात यह थी कि उन्हें यह सुनिश्चित करना था कि उनकी माँ का बलिदान व्यर्थ न जाए।
बेटा उनके नक्शेकदम पर चले और रक्षा बलों में शामिल हो जाए
पिता नेम सिंह जुरेल जो कारगिल युद्ध के योद्धा थे, कभी नहीं चाहते थे कि वह किसी भी खेल को अपनाएं। क्रिकेट को लेकर हमेशा डांटते रहे। लेकिन इस कुछ अलग करने की ठान ली थी। वह चाहते थे कि उनका बेटा उनके नक्शेकदम पर चले और रक्षा बलों में शामिल हो जाए। सरकारी नौकरी कर ले।
हालात तब बिगड़ गए, जब 14 साल के ध्रुव ने आर्थिक तंगी के कारण अपने पिता द्वारा क्रिकेट बैट नहीं मिलने पर घर से भागने की धमकी दी। यह ध्रुव की माँ थी, जो बचाव में आई। अपने बेटे के सपनों के लिए पैसों का इंतजाम करने के लिए उन्होंने अपनी सोने की चेन बेच दी। ध्रुव जो अब 22 साल का है और आईपीएल फ्रेंचाइजी के सबसे प्रतिभाशाली खिलाड़ियों में से एक है।
ध्रुव के लिए सबसे बड़ा पुरस्कार उसके पिता के शब्द
राजस्थान रॉयल्स खिलाड़ी ने कहा कि हमें वक़्त तो एहसास नहीं हुआ (तब मुझे इसका एहसास नहीं हुआ) लेकिन जब मुझे एहसास हुआ कि यह कितना बड़ा बलिदान था, तो मैं और अधिक दृढ़ हो गया। पंजाब किंग्स के खिलाफ अपना आईपीएल डेब्यू करने के बाद से पीछे मुड कर नहीं देखा। वह इम्पैक्ट प्लेयर के रूप में नंबर 8 पर बल्लेबाजी करने आए तो उन्हें 30 गेंदों में 74 रनों की आवश्यकता थी।
15 गेंदों में नाबाद 32 रन बनाकर विश्व क्रिकेट के दिग्गजों से प्रशंसा अर्जित की। उन्होंने उस टीम में फिनिशर के रूप में नाम कमाया है। जिसमें शिम्रोन हेटमायर और जेसन होल्डर जैसे खिलाड़ी हैं, यह उनकी प्रतिभा का सबसे बड़ा प्रमाण है। लेकिन ध्रुव के लिए सबसे बड़ा पुरस्कार उसके पिता के शब्द थे।
ध्रुव ने याद करते हुए कहा कि जयपुर में एक आईपीएल मैच देखने आए थे। पापा ने मम्मी की ओर मुड़कर कहा कि तेरे सोने की चेन वसूल हो गई आज'। प्रतिभाशाली विकेटकीपर-बल्लेबाज के लिए कुछ भी आसान नहीं रहा है। लेकिन चीजें धीरे-धीरे बदलने लगीं। बेहतर अवसरों की तलाश में वह दिल्ली एनसीआर का हिस्सा नोएडा आ गए।
उनकी मां फिर आगे आईं। उन्होंने अपने बेटे के साथ नोएडा शिफ्ट होने का फैसला किया। ध्रुव का बल्ला विश्वास पर खरा उतरता रहा और जल्द ही उन्हें भारत की U19 टीम के लिए चुन लिया गया। वह 2020 में U19 विश्व कप में भारतीय टीम के उप-कप्तान भी थे, जहां वे उपविजेता रहे।
भाग्य परिवर्तन एवं पिता का सहयोग ध्रुव की माँ उसके लिए बलिदान देने वाली अकेली नहीं थीं। ध्रुव के धैर्य, दृढ़ संकल्प और जुनून को देखकर, उनके पिता के प्रतिरोध ने अप्रत्यक्ष समर्थन का रास्ता बदल दिया। उनका बलिदान अलग तरह का था। ध्रुव ने कहा, "उसने मेरे पड़ोसियों से नियमित ताने सुने कि वह मुझे क्रिकेट वगैरह खेलने की इजाजत देकर मेरी जिंदगी बर्बाद कर रहा है।"
इंग्लैंड के खिलाफ पहले दो टेस्ट मैच के लिए भारतीय टीम घोषित, ध्रुव जुरेल को मिला मौका
इंग्लैंड के खिलाफ होने वाली टेस्ट श्रृंखला के शुरुआती दो मैचों के लिए चयनकर्ताओं ने भारतीय टीम की शुक्रवार को घोषणा कर दी। भारतीय टीम में विकेटकीपर बल्लेबाज ध्रुव जुरेल को मौका दिया गया है। रोहित शर्मा 16 सदस्यीय टीम का नेतृत्व करेंगे जबकि जसप्रीत बुमराह उपकप्तान होंगे। अनुभवी तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी को टीम में शामिल नहीं किया गया।
क्योंकि वह पिछले साल हुए एकदिवसीय विश्व कप के दौरान लगी चोट से उबर रहे हैं। शमी हाल में दक्षिण अफ्रीका दौरे पर गई भारतीय टीम का भी हिस्सा नहीं थे। चोटिल होने के कारण कर्नाटक के तेज गेंदबाज प्रसिद्ध कृष्णा के नाम पर भी विचार नहीं किया गया। पहला टेस्ट 25 जनवरी से हैदराबाद में और दूसरा मैच दो फरवरी से विशाखापत्तनम में खेला जाएगा।
इंग्लैंड के खिलाफ पहले दो टेस्ट के लिए भारतीय टेस्ट टीम इस प्रकार हैं: रोहित शर्मा (कप्तान), शुभमन गिल, यशस्वी जायसवाल, विराट कोहली, श्रेयस अय्यर, केएल राहुल (विकेटकीपर), केएस भरत (विकेटकीपर), ध्रुव जुरेल (विकेटकीपर), रविचंद्रन अश्विन, रवींद्र जडेजा, अक्षर पटेल, कुलदीप यादव, मोहम्मद सिराज, मुकेश कुमार, जसप्रीत बुमराह (उपकप्तान) और अवेश खान।