केरल ने गुरुवार को गुजरात को 113 रन से हराते हुए रणजी ट्रॉफी के सेमीफाइनल में पहुंचते हुए नया इतिहास रच दिया है। ये केरल की टीम अपने 61 साल के रणजी इतिहास में पहली बार सेमीफाइनल में पहुंची है।
केरल स्थित वयानाड में खेले गए क्वॉर्टर फाइनल मैच में गुरुवार को जीत के लिए मिले 195 रन के जवाब में गुजरात की टीम अपनी दूसरी पारी में 81 रन पर सिमट गई। गुजरात के लिए कप्तान पार्थिव पटेल ने सर्वाधिक 33 रन और ध्रुव रावल ने 17 रन बनाए लेकिन इन दोनों के अलावा बाकी कोई बल्लेबाज बड़ा स्कोर नहीं बना पाया।
केरल को पहली बार रणजी सेमीफाइनल में पहुंचने में लगे 61 साल
केरल ने 9 नवंबर 1957 को अपना रणजी ट्रॉफी डेब्यू किया था और उसे पहली बार सेमीफाइनल में पहुंचने में 61 साल या 22,350 दिन का लंबा समय लगा। केरल के कोच डेव ह्वॉटमोर किसी टीम को सेमीफाइनल में पहुंचाने वाले दूसरे विदेशी कोच बन गए हैं। इससे पहले महाराष्ट्र के डेविस एंड्रयूज ने ये कमाल किया था।
केरल के लिए तेज गेंदबाज बासिल थंपी ने शानदार प्रदर्शन करते हुए दूसरी पारी में 27 रन देकर 5 विकेट झटके जबकि संदीप वारियर ने 30 रन देकर 4 विकेट लेते हुए गुजरात की बैटिंग की कमर तोड़ दी। इन दोनों ने मैच में 8-8 विकेट झटके और केरल की इस ऐतिहासिक जीत में अहम भूमिका निभाई।