वर्ल्ड कप से पहले धवन का खुलासा, कहा- शांत रहना पसंद करता हूं, इसका मतलब ये नहीं कि मुझमें जुनून नहीं

धवन ने बताया कि किसी तरह की आलोचना का असर उनपर नहीं होता है और वो इन सबकी परवाह नहीं करते हैं।

By सुमित राय | Published: May 17, 2019 10:20 AM

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ठळक मुद्देधवन 30 मई से इंग्लैंड में शुरू हो रहे आईसीसी वर्ल्ड कप में टीम इंडिया का अहम हिस्सा हैं।धवन ने अब तक खेले 128 वनडे मैचों में 44.62 की औसत और 93.79 की स्ट्राइक रेट से 5355 रन बनाए हैं।आईसीसी वर्ल्ड की शुरुआत 30 मई से हो रही और भारतीय टीम पहला मैच 5 जून को साउथ अफ्रीका के खिलाफ खेलेगी।

भारतीय क्रिकेट टीम के सलामी बल्लेबाज शिखर धवन 30 मई से इंग्लैंड में शुरू हो रहे आईसीसी वर्ल्ड कप में टीम इंडिया का अहम हिस्सा हैं और वर्ल्ड कप के लिए तैयारियों में लगे हैं। इस बीच उन्होंने अपने स्वभाव, क्रिकेट और पर्सनल लाइफ को लेकर कई खुलासे किए। धवन ने बताया कि किसी तरह की आलोचना का असर उनपर नहीं होता है और वो इन सबकी परवाह नहीं करते हैं।

शिखर धवन क्रिकेट ग्राउंड पर अक्सर हंसते और मजाक करते नजर आते हैं। वहीं कैच लेने के बाद भांगड़ा करने का उनका अंदाज ही अलग है, लेकिन कैच छूटने पर भी वो निराश नहीं होते और उनके चेहरे पर मुस्कान बनी रहती है। हालांकि कई बार धवन के इस स्वभाव का गलत मतलब निकाला जा चुका है कि वो गंभीर नहीं हैं। इस बारे में धवन का कहना है कि वो मैदान पर शांत रहना पसंद करते है क्योंकि ज्यादा उत्साहित होने से कोई मदद नहीं मिलती।

आईपीएल में दिल्ली कैपिटल्स के लिए 521 रन बनाने वाले शिखर ने कहा कि विश्व कप को लेकर उन पर कोई दबाव नहीं है। उन्होंने कहा, ''मैं इस तरह का बंदा ही नहीं हूं कि दबाव महसूस करूं। मैं अविचलित रहता हूं। आलोचक अपना काम कर रहे हैं। मैं पांच दस मैचों में अच्छा नहीं खेल सका तो इसका यह मतलब नहीं है कि सब कुछ खत्म हो गया। मुझे पता है कि मैं क्या कर सकता हूं।''

आईपीएल में दिल्ली कैपिटल्स के लिए 521 रन बनाने वाले धवन ने टाइम्स ऑफ इंडिया को दिए इंटरव्यू में कहा, 'मैं ज्यादा भावनाएं नहीं दिखाता हूं। गंभीरता मेरे अंदर रहती है। ज्यादा उत्साहित होने से कोई मदद नहीं मिलती। मैं दिमाग शांत रखना पसंद करता हूं, लेकिन इसका ये मतलब नहीं है कि मैं गंभीर नहीं हूं।' धवन ने कहा कि इस साल आईपीएल के दौरान फिरोजशाह कोटला मैदान पर दिल्ली के लिए खेलकर कोटला के सारे याद ताजा हो गए।

धवन ने बताया कि वो अब टीम इंडिया में जगह पाने की कोशिश में लगे एक युवा और जल्दबाजी में बैटिंग करने वाले खिलाड़ी से विकसित हो गए हैं। वो अब एक सुलझे हुए समझदार क्रिकेटर बन गए हैं। इस दौरान उन्होंने 'ठहराव' शब्द का प्रयोग किया और बताया कि उनकी जिंदगी में ठहराव लाने में उनकी पत्नी आएशा धवन का बड़ा हाथ हैं। धवन ने ये भी बताया कि वो आएशा के साथ अपने खेल को लेकर काफी चर्चा करते हैं।

उन्होंने कहा, 'मैं अपनी पत्नी के साथ अपने क्रिकेट को लेकर काफई चर्चा करता हूं। हम दोनों इस पर काफी गंभीरता से बात करते हैं। कभी कभी तो वो इतना ज्यादा उत्साहित हो जाती है और अगर मैं अच्छा नहीं खेलता हूं तो मुझे उसे कहना पड़ता है कि शांत हो जाओ, इतना गुस्सा तो मेरा कोच भी नहीं होता।'

33 वर्षीय शिखर धवन ने आईसीसी वर्ल्ड कप को लेकर कहा कि वो इसको लेकर किसी तरह के दवाब में नहीं हैं। उन्होंने कहा, 'मैं इस तरह का बंदा ही नहीं हूं कि दबाव महसूस करूं। मैं अविचलित रहता हूं। आलोचक अपना काम कर रहे हैं। मैं पांच दस मैचों में अच्छा नहीं खेल सका तो इसका यह मतलब नहीं है कि सब कुछ खत्म हो गया। मुझे पता है कि मैं क्या कर सकता हूं।'

धवन ने कहा 'मैं दबाव को नियंत्रण नहीं लेने दे सकता। जितना ज्यादा मैं अपने खेल के बारे में सोचूंगा, उतना ज्यादा से ये मुझे नुकसान पहुंचाएगा। मुझे ये निश्चित करना होगा कि भावनाएं मैदान पर मुझे कमजोर ना बनाएं और मैं शांत रहूं।'

बता दें कि भारत के वर्ल्ड कप टीम में शामिल शिखर धवन ने अब तक खेले 128 वनडे मैचों में 44.62 की औसत और 93.79 की स्ट्राइक रेट से 5355 रन बनाए हैं। धवन ने वनडे क्रिकेट में 16 शतक और 27 अर्धशतक लगाए हैं व उनका उच्चतम स्कोर 143 रन है। वहीं धवन के पिछले चार साल के प्रदर्शन पर नजर डालें तो उन्होंने टीम इंडिया के लिए ओपनिंग करते हुए 67 मैचों में 45.20 की औसत से 2848 रन बनाए, जिसमें आठ शतक और 15 अर्धशतक शामिल हैं।

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