भाजपा में शामिल नहीं हुए इसलिए उन्हें निशाना बनाया गया, सौरव गांगुली को लेकर बीजेपी-टीएमसी आमने-सामने

 तृणमूल के शांतनु सेन ने कहा कि यह राजनीतिक प्रतिशोध का उदाहरण है कि अमित शाह के बेटे को बीसीसीआई के सचिव के रूप में बरकरार रखा जा सकता है लेकिन सौरव गांगुली नहीं।

By अनिल शर्मा | Published: October 12, 2022 09:00 AM2022-10-12T09:00:14+5:302022-10-12T11:16:43+5:30

bjp tussle over sourav ganguly targeted for not joining bjp or from kolkata bcci roger binny | भाजपा में शामिल नहीं हुए इसलिए उन्हें निशाना बनाया गया, सौरव गांगुली को लेकर बीजेपी-टीएमसी आमने-सामने

भाजपा में शामिल नहीं हुए इसलिए उन्हें निशाना बनाया गया, सौरव गांगुली को लेकर बीजेपी-टीएमसी आमने-सामने

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Highlightsबेंगलुरु के रहने वाले 67 वर्षीय रोजर बिन्नी बोर्ड के 36वें अध्यक्ष होंगे। 18 अक्टूबर को बीसीसीआई की एजीएम में गांगुली की जगह लेने की संभावना है। टीएमसी ने कहा कि गांगुली को इसलिए बरकरार नहीं रखा गया क्योंकि वह भाजपा में शामिल नहीं हुए।

भारत की 1983 की विश्व कप विजेता टीम के नायक रहे रोजर बिन्नी का सौरव गांगुली की जगह भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) का अध्यक्ष बनेंगे। टीएमसी ने भाजपा पर आरोप लगाया कि सौरव गांगुली भाजपा में शामिल नहीं हुए इसलिए उन्हें निशाना बनाया गया। पिछले विधानसभा चुनाव से पहले इसकी चर्चा थी कि गांगुली भाजपा में शामिल होंगे।

 तृणमूल के शांतनु सेन ने कहा कि यह राजनीतिक प्रतिशोध का उदाहरण है कि अमित शाह के बेटे को बीसीसीआई के सचिव के रूप में बरकरार रखा जा सकता है लेकिन सौरव गांगुली नहीं। राज्यसभा सांसद ने ट्वीट किया "ऐसा इसलिए है क्योंकि वह ममता बनर्जी के राज्य से हैं या वह भाजपा में शामिल नहीं हुए? हम आपके साथ हैं दादा!"

 18 अक्टूबर को बीसीसीआई की एजीएम में गांगुली की जगह लेने की संभावना है। भाजपा ने कहा कि वह कभी भी सौरव गांगुली को अपने पाले में शामिल नहीं करना चाहती थी और टीएमसी बीसीसीआई में बदलाव को लेकर मगरमच्छ के आंसू बहा रही है। भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा कि "हमें नहीं पता कि भाजपा ने सौरव गांगुली को पार्टी में शामिल करने की कोशिश कब की।'' 

घोष ने कहा कि सौरव गांगुली एक क्रिकेट के दिग्गज हैं। कुछ लोग अब बीसीसीआई में बदलाव को लेकर घड़ियाली आंसू बहा रहे हैं। क्या उनकी कोई भूमिका थी जब उन्होंने बीसीसीआई अध्यक्ष के रूप में पदभार संभाला था। टीएमसी को हर मुद्दे का राजनीतिकरण करना बंद कर देना चाहिए।''

पिछले एक सप्ताह से चल रही गहमागहमी के बाद यह फैसला किया गया कि बेंगलुरु के रहने वाले 67 वर्षीय बिन्नी बोर्ड के 36वें अध्यक्ष होंगे। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के बेटे जय शाह लगातार दूसरे कार्यकाल के लिए बीसीसीआई सचिव बने रहेंगे। शाह इसके अलावा आईसीसी बोर्ड में गांगुली की जगह भी लेंगे। बीसीसीआई पदाधिकारियों में शामिल एकमात्र कांग्रेसी राजीव शुक्ला बोर्ड के उपाध्यक्ष बने रहेंगे। खेल मंत्री अनुराग ठाकुर के छोटे भाई अरुण सिंह धूमल अब इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के चेयरमैन होंगे।

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