जयपुर, 13 मार्च नीति आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) अमिताभ कांत ने शनिवार को कहा कि सतत आर्थिक वृद्धि के जरिए भारत ने अपनी ताकत को वास्तव में प्रदर्शित किया है और यह इसके भविष्य की कुंजी है।
कांत शनिवार को यहां एक सम्मेलन 'मिलिटेरिया' को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि पूर्व और दक्षिण पूर्व एशिया की अर्थव्यवस्थाओं ने एक ही पीढ़ी के भीतर खुद का कायांतरण कर लिया। भारत ने 1991 के बाद के 30 साल के दौरान 6.5% की सालाना औसत आर्थिक वृद्धि के साथ अच्छा खासा बदलाव देखा है। उन्होंने कहा आगे भी, निवेश के स्तर और निरंतर आर्थिक वृद्धि सुरक्षा कारणों से महत्वपूर्ण है।
कांत ने कहा, "सतत आर्थिक वृद्धि भारत के भविष्य की कुंजी है। सुरक्षा कारणों से निवेश और सतत आर्थिक आर्थिक वृद्धि महत्वपूर्ण है।"
उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी के बाद देश द्वारा उठाए गए कदमों से कई क्षेत्रों में आमूल-चूल सुधारों की शुरुआत हुई है। उन्होंने कहा कि निजी क्षेत्र को भारत के आर्थिक वृद्धि के 'ह्रदय' में लाने की जरूरत है।
उन्होंने कहा, "भारत को एक उच्च दर वाली वृद्धि की राह की ओर ले जाना बड़ी चुनौती है। वैश्विक आर्थिक वृद्धि 2020 में (-) 3.5% रहने के बाद सुधरकर लगभग 5.5% होने की उम्मीद है।'
यहां के एक होटल में आयोजित इस सम्मेलन में सेना के स्वदेशीकरण से लेकर राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर नयी चुनौतियों पर चर्चा की गयी। सम्मेलन का उद्घाटन लेफ्टिनेंट जनरल आलोक एस. क्लेर ने किया। मिलिटेरिया के संस्थापक, रक्षा विशेषज्ञ मरूफ रजा ने शुरू में अतिथियों का स्वागत किया।
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