Rakesh Jhunjhunwala: आकाश एयर की पहली उड़ान, सात अगस्त को आखिरी बार सार्वजनिक रूप से देखा गया था, जानें इनके बारे में...
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: August 14, 2022 02:14 PM2022-08-14T14:14:29+5:302022-08-14T14:16:30+5:30
Rakesh Jhunjhunwala: देश की नई किफायती विमान सेवा कंपनी 'आकाश एयर' की शुरुआत की। इस एयरलाइन ने एक हफ्ते पहले ही मुंबई से अहमदाबाद की उड़ान के साथ अपना परिचालन शुरू किया है।
नई दिल्लीः शेयर बाजार के दिग्गज निवेशक और 'भारत के वारेन बफे' कहे जाने वाले राकेश झुनझुनवाला का रविवार सुबह दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। वह 62 वर्ष के थे। उनकी ‘नेटवर्थ’ 5.8 अरब डॉलर (46,000 करोड़ रुपये) थी। झुनझुनवाला की तरफ से हाल ही में शुरू की गई एयरलाइन 'आकाश एयर' के एक सूत्र ने बताया कि झुनझुनवाला को रविवार सुबह दिल का दौरा पड़ा।
उन्हें फौरन ब्रीच कैंडी अस्पताल ले जाया गया लेकिन अस्पताल पहुंचने तक उनका निधन हो चुका था। आकाश एयर में 40 प्रतिशत हिस्सेदारी रखने वाले राकेश झुनझुनवाला को सात अगस्त को मुंबई-अहमदाबाद के बीच एयरलाइन की उद्घाटन उड़ान के मौके पर आखिरी बार सार्वजनिक रूप से देखा गया था। झुनझुनवाला का रविवार सुबह निधन हो गया।
उन्होंने मुंबई एयरपोर्ट पर अपने भाषण में कहा था कि आमतौर पर एक बच्चा नौ महीने में जन्म लेता है लेकिन हमने आकाश एयर को 12 महीने में तैयार किया। नागर विमानन मंत्रालय के सहयोग के बिना यह संभव नहीं था। झुनझुनवाला ने कहा कि मुझे नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को धन्यवाद देना चाहिए क्योंकि लोगों का मानना है कि भारत की नौकरशाही काफी खराब है।
लेकिन नागर विमानन मंत्रालय ने हमें जो सहयोग दिया वह अविश्वसनीय है। भाषण देने के बाद झुनझुनवाला ने आकाश एयर की पहली उड़ान में यात्रा भी की थी। आकाश एयर के संस्थापक और मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) विनय दुबे ने बयान में झुनझुनवाला के निधन पर शोक जताते हुए कहा है कि आकाश एयर में हम उनका ठीक से आभार भी नहीं जता पाए थे।
किफायती विमानन सेवा कंपनी आकाश एयर फिलहाल मुंबई-अहमदाबाद और बेंगलुरु-कोच्चि मार्गों पर उड़ानों का परिचालन कर रही है। 19 अगस्त से यह बेंगलुरु-मुंबई और 15 सितंबर से चेन्नई-मुंबई मार्ग पर उड़ानें शुरू करेगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने झुनझुनवाला के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा कि उन्होंने आर्थिक जगत में अपनी अमिट छाप छोड़ी है। मोदी ने अपने ट्वीट में कहा, ‘‘राकेश झुनझुनवाला जिंदादिल, हाजिरजवाब और गहरी समझ वाले व्यक्ति थे।’’ वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ट्वीट किया, ‘‘राकेश झुनझुनवाला अब नहीं रहे। वह जोखिम लेने में काफी साहस दिखाते थे और शेयर बाजार को लेकर उनकी समझ जबर्दस्त थी। मेरी उनके साथ कई बार बातचीत हुई। उनको भारत की ताकत और क्षमता में भरोसा था।’’
देश के सबसे अमीर व्यक्ति और अडाणी समूह के प्रमुख गौतम अडाणी ने कहा कि झुनझुनवाला पूरी पीढ़ी के लिए प्रेरणा थे। टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने कहा कि झुनझुनवाला को भारत में भरोसा था और वह देश की क्षमता में विश्वास रखते थे। फोर्ब्स के अनुसार, झुनझुनवाला की नेटवर्थ 5.8 अरब डॉलर थी।
फोर्ब्स की 2021 की सूची के अनुसार, वह भारत के 36वें सबसे अमीर व्यक्ति थे। कई बार उनकी तुलना दिग्गज अमेरिकी निवेशक वारेन बफे से की जाती थी। उन्हें भारतीय बाजारों का ‘बिग बुल’ भी कहा जाता था। उन्होंने अपने कॉलेज के दिनों में भारतीय शेयर बाजारों में निवेश की शुरुआत मात्र 5,000 रुपये की पूंजी से की थी।
चार्टर्ड अकाउंटेंट (सीए) रहे झुनझुनवाला ने कंपनियों के खातों का ऑडिट करने के बजाय दलाल पथ की राह चुनी। 1985 में उन्होंने 5,000 रुपये की पूंजी के साथ इसकी शुरुआत की। उनके पोर्टफोलियो में स्टार हेल्थ, टाइटन, रैलिस इंडिया, केनरा बैंक, इंडियन होटल्स कंपनी, एग्रो टेक फूड्स, नजारा टेक्नोलॉजीज और टाटा मोटर्स शामिल हैं।
उनका तीन दर्जन से ज्यादा कंपनियों में निवेश था। टाइटन, स्टार हेल्थ, टाटा मोटर्स और मेट्रो ब्रांड्स जैसी कंपनियों में उनकी बड़ी हिस्सेदारी थी। अकेले टाइटन में ही उनकी 5.05 प्रतिशत हिस्सेदारी का मूल्य 11,000 करोड़ रुपये है। उनकी सबसे अधिक 23.37 प्रतिशत हिस्सेदारी एप्टेक लि. में है।
स्टार हेल्थ एंड अलायड इंश्योरेंस कंपनी में उनकी 17.49 प्रतिशत, मेट्रो ब्रांड्स में 14.43 प्रतिशत, एनसीसी लि. में 2.62 प्रतिशत और नजारा टेक्नोलॉजीज में 10.03 प्रतिशत हिस्सेदारी है। वह हंगामा मीडिया और एप्टेक के चेयरमैन थे। वह कई कंपनियों के निदेशक मंडल में भी शामिल थे।
झुनझुनवाला का जन्म पांच जुलाई, 1960 को राजस्थान के परिवार में हुआ था। वह मुंबई में पले-बढ़े थे। मुंबई में उनके पिता आयकर आयुक्त थे। उन्होंने साइडेन्हेम कॉलेज से स्नातक की डिग्री हासिल की और बाद में भारतीय सनदी लेखाकार संस्थान (आईसीएआई) में नामांकन कराया।
झुनझुनवाला ने 1986 में टाटा टी के 5,000 शेयर 43 रुपये के भाव पर खरीदे। तीन माह में यह शेयर 143 रुपये पर पहुंच गया। यह उनका पहला बड़ा मुनाफा था। तीन साल में उन्होंने 20 से 25 लाख रुपये की कमाई की। झुनझुनवाला ने जिस समय शेयर बाजारों में निवेश करना शुरू किया उस समय सेंसेक्स 150 अंक पर था। आज सेंसेक्स 59,000 अंक के स्तर पर मौजूद है।
शेयर बाजार के विशेषज्ञों ने दी झुनझुनवाला को श्रद्धांजलि
शेयर बाजार के दिग्गज निवेशक राकेश झुनझुनवाला के निधन पर बाजार विश्लेषकों ने शोक जताते हुए कहा है कि उनका देश की वृद्धि की कहानी पर काफी भरोसा था और उनके भीतर मौजूद ऊर्जा उन्हें खास बनाती थी। 62 वर्षीय झुनझुनवाला का रविवार सुबह दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया।
जेरोधा के संस्थापक निखिल कामत ने ट्वीट किया, ‘‘आप जैसा कोई कभी भी देखने को नहीं मिलेगा।’’ झुनझुनवाला को कई बार भारत का वारेन बफे और भारतीय बाजारों का बिग बुल कहा जाता था। एक्सिस सिक्योरिटीज के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) बी गोपकुमार ने कहा, ‘‘वह टीवी स्टूडियो में जैसी ऊर्जा लाते थे, उसके लिए उन्हें कभी भुलाया नहीं जा सकता।’’
उन्होंने कहा कि भारत की वृद्धि की कहानी में उन्हें पूरा भरोसा था। उन्होंने हमेशा यह साबित किया कि यदि कोई व्यक्ति अच्छी कंपनियों में अपने निवेश को बनाए रखता है, तो उसकी संपत्ति बढ़ना निश्चित है। एक अन्य विशेषज्ञ संदीप पारेख ने कहा कि झुनझुनवाला ऐसी हस्ती थे जिनके भाषण सुनकर ऐसे लोगों को भी देश की वृद्धि की कहानी में भरोसा हो जाता था, जो ऐसा नहीं मानते थे। एंबिट एसेट मैनेजमेंट के सीईओ सुशांत भंसाली ने कहा कि झुनझुनवाला भारत की कहानी में सबसे अधिक भरोसा करने वाले लोगों में से एक थे।