पीएम धन धान्य कृषि योजनाः किसान को 35,440 रुपये तोहफा?, कृषि, पशुपालन, मत्स्य पालन और खाद्य प्रसंस्करण में पीएम मोदी ने दी खुशखबरी, कैसे उठाएं फायदा
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: October 11, 2025 14:12 IST2025-10-11T12:27:22+5:302025-10-11T14:12:06+5:30
PM Dhan Dhanya Krishi Yojana: कृषि उत्पादकता को बढ़ाना, फसल विविधीकरण और टिकाऊ कृषि पद्धतियों को अपनाना, पंचायत और प्रखंड स्तर पर फसल कटाई बाद के भंडारण को बढ़ाना, सिंचाई सुविधाओं में सुधार करना और 100 चयनित जिलों में दीर्घकालिक और अल्पकालिक ऋण की उपलब्धता को सुविधाजनक बनाना है।

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नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को कृषि क्षेत्र के लिए 35,440 करोड़ रुपये के संयुक्त परिव्यय वाली दो प्रमुख योजनाओं का शुभारंभ किया। इनमें आयात पर निर्भरता कम करने के लिए एक दाल मिशन शामिल है। यह कार्यक्रम समाजवादी नेता जयप्रकाश नारायण की जयंती के अवसर पर आयोजित किया गया। उन्होंने कृषि, पशुपालन, मत्स्य पालन और खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्रों में 5,450 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की परियोजनाओं का उद्घाटन भी किया। साथ ही लगभग 815 करोड़ रुपये की अन्य परियोजनाओं की आधारशिला भी रखी।
"Will transform fortunes of farmers": PM Modi launches Rs 35,440-crore farm schemes, criticises previous govt for "lack of vision"
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PM Modi launches two major schemes in agriculture sector worth Rs 35,440 crore
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'दलहन आत्मनिर्भरता मिशन' के लिए 11,440 करोड़ रुपये का परिव्यय किया जाएगा और इसका लक्ष्य फसल वर्ष 2030-31 तक दलहन उत्पादन को मौजूदा 252.38 लाख टन से बढ़ाकर 350 लाख टन करना और देश की आयात निर्भरता को कम करना है। इसके अलावा 24,000 करोड़ रुपये की 'प्रधानमंत्री धन धान्य कृषि योजना' का मकसद कम प्रदर्शन करने वाले 100 कृषि जिलों का कायाकल्प करना है।
यह योजना उत्पादकता बढ़ाने, फसल विविधीकरण को बढ़ावा देने, सिंचाई और भंडारण में सुधार लाने और चुनिंदा 100 जिलों में आसानी से ऋण देने पर केंद्रित होगी। दोनों योजनाओं को मंत्रिमंडल की मंजूरी पहले ही मिल चुकी है और ये आगामी रबी (सर्दियों) सत्र से लेकर 2030-31 तक चलेंगी।
प्रधानमंत्री द्वारा उद्घाटन की गई परियोजनाओं में बेंगलुरु और जम्मू-कश्मीर में कृत्रिम गर्भाधान प्रशिक्षण केंद्र, अमरेली और बनास में उत्कृष्टता केंद्र, राष्ट्रीय गोकुल मिशन के तहत असम में एक आईवीएफ प्रयोगशाला, मेहसाणा, इंदौर और भीलवाड़ा में दूध पाउडर संयंत्र और तेजपुर में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत एक मछली चारा संयंत्र शामिल हैं।
कार्यक्रम के दौरान मोदी ने राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन के तहत प्रमाणित किसानों, मैत्री तकनीशियनों और प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केंद्रों (पीएमकेएसके) तथा सामान्य सेवा केंद्रों (सीएससी) में परिवर्तित प्राथमिक कृषि सहकारी ऋण समितियों (पीएसीएस) को प्रमाण पत्र भी दिए।
इस कार्यक्रम में सरकारी पहलों के तहत हासिल की गई महत्वपूर्ण उपलब्धियों को चिह्नित किया गया, जिसमें 10,000 किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) में 50 लाख किसान सदस्यता शामिल हैं। मोदी ने दलहन की खेती में लगे उन किसानों से भी बातचीत की, जिन्हें कृषि, पशुपालन और मत्स्य पालन में मूल्य श्रृंखला स्थापित करने के लिए विभिन्न सरकारी योजनाओं से लाभ हुआ है। इस कार्यक्रम में कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान, मत्स्य पालन, पशुपालन और डेयरी मंत्री राजीव रंजन सिंह और कृषि राज्य मंत्री भागीरथ चौधरी उपस्थित थे।