इराक के प्रधानमंत्री की हत्या की नाकाम कोशिश के बाद देश में बढ़ा तनाव

By भाषा | Updated: November 7, 2021 22:38 IST2021-11-07T22:38:16+5:302021-11-07T22:38:16+5:30

Tension rises in the country after the failed attempt to assassinate the Prime Minister of Iraq | इराक के प्रधानमंत्री की हत्या की नाकाम कोशिश के बाद देश में बढ़ा तनाव

इराक के प्रधानमंत्री की हत्या की नाकाम कोशिश के बाद देश में बढ़ा तनाव

बगदाद, सात नवंबर (एपी) इराक के प्रधानमंत्री के आवास को सशस्त्र ड्रोन के साथ निशाना बनाकर उनकी हत्या के असफल प्रयास के बाद रविवार को बगदाद के आसपास सैनिकों को तैनात किया गया। इस हमले ने पिछले महीने के संसदीय चुनाव के परिणामों को स्वीकार करने से ईरान समर्थित मिलिशिया के इनकार के कारण उत्पन्न तनाव को और बढ़ा दिया है।

इराक के दो अधिकारियों ने नाम उजागर नहीं करने की शर्त पर बताया कि बगदाद के भारी सुरक्षा वाले ‘ग्रीन ज़ोन’ क्षेत्र में कम से कम दो ड्रोन हमलों में प्रधानमंत्री मुस्तफा अल-कदीमी के सात सुरक्षा गार्ड घायल हो गए।

अल-कदीमी को इस मामले में कोई खास चोट नहीं आई। बाद में वह इराकी टेलीविजन पर एक सफेद कमीज पहने और शांत दिखाई दिए। उनके बाएं हाथ पर पट्टी बंधी दिख रही थी। एक सहयोगी ने हल्की खरोंच आने की पुष्टि की।

अल-कदीमी ने कहा, “कायरतापूर्ण रॉकेट और ड्रोन हमले न तो देश बनाते हैं और न ही भविष्य का निर्माण करते हैं।” बाद में रविवार को उन्होंने इराकी राष्ट्रपति बरहाम सालिह से मुलाकात की और सरकारी सुरक्षा बैठक की अध्यक्षता की।

बगदाद के निवासियों ने विदेशी दूतावासों और सरकारी कार्यालयों वाले ग्रीन ज़ोन की दिशा से एक विस्फोट की आवाज़ सुनी, जिसके बाद भारी गोलाबारी हुई। तस्वीरों में अल-कदीमी का आवास क्षतिग्रस्त दिख रहा है, जिनमें टूटी हुई खिड़कियां और दरवाजे भी शामिल हैं।

सुरक्षा बलों द्वारा बाद में जारी एक वीडियो में और ज्यादा नुकसान दिखा। इसमें, बंगले के बाहर खड़ी एक वैन बुरी तरह से क्षतिग्रस्त दिखी, सीढ़ियों के पास एक गड्ढा के अलावा छत में दरारें भी दिखीं। घटनास्थल पर दो छोटे बिना फटे हुए रॉकेट भी दिख रहे हैं।

हमले की किसी ने जिम्मेदारी नहीं ली, लेकिन ईरान समर्थित मिलिशिया पर तुरंत शक जताया गया, जो सार्वजनिक रूप से अल-कदीमी पर निशाना साध रहे थे और धमकी दे रहे थे। यह हमला सुरक्षा बलों और ईरान समर्थक शिया मिलिशिया के बीच गतिरोध के बीच हुआ है, जिनके समर्थक लगभग एक महीने से ग्रीन जोन के बाहर डेरा डाले हुए हैं। वे इराक के संसदीय चुनावों के परिणामों को खारिज करने के बाद एकत्र हुए। चुनावों में उन्होंने अपनी लगभग दो-तिहाई सीटें खो दी थीं।

विरोध शुक्रवार को उस समय घातक हो गया जब प्रदर्शनकारियों ने ग्रीन जोन में प्रवेश करने की कोशिश की। सुरक्षा बलों ने आंसू गैस के गोले दागे और गोला-बारूद का इस्तेमाल किया। दोनों ओर से हुयी गोलीबारी में मिलिशिया से जुड़े एक प्रदर्शनकारी की मौत हो गई तथा दर्जनों सुरक्षा बल घायल हो गए। अल-खादीमी ने जांच के आदेश दिए।

ईरान के प्रति वफादार सबसे शक्तिशाली मिलिशिया गुटों के कुछ नेताओं ने शुक्रवार की झड़पों और प्रदर्शनकारी की मौत के लिए अल-कदीमी को खुले तौर पर जिम्मेदार ठहराया।

गुट के कई नेता शनिवार को प्रदर्शनकारी के अंतिम संस्कार में शामिल हुए।

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