मार्क जकरबर्ग के लेटर से अमेरिका में तहलका, कोविड महामारी के दौर में बाइडेन प्रशासन ने सेंसरशिप का दबाव डाला था
By शिवेन्द्र कुमार राय | Updated: August 27, 2024 11:59 IST2024-08-27T11:57:14+5:302024-08-27T11:59:03+5:30
पत्र में मार्क जुकरबर्ग ने दावा किया कि बिडेन-हैरिस प्रशासन ने उनकी कंपनी फेसबुक पर कोविड से संबंधित पोस्ट को सेंसर करने के लिए "बार-बार दबाव" डाला।

मेटा/फ़ेसबुक के प्रमुख मार्क ज़करबर्ग
Mark Zuckerberg:मेटा/फ़ेसबुक के प्रमुख मार्क ज़करबर्ग ने रिपब्लिकन पार्टी की यूएस हाउस ज्यूडिशियरी कमेटी को एक पत्र लिख कर बताया है कि कोविड महामारी के दौर में बाइडेन-हैरिस प्रशासन ने उनपर सेंसरशिप करने का दबाव डाला था। उन्होंने यह भी कहा है कि अमेरिकी सरकार के दबाव में आने का उन्हें अफ़सोस है।
पत्र में मार्क जुकरबर्ग ने दावा किया कि बिडेन-हैरिस प्रशासन ने उनकी कंपनी फेसबुक पर कोविड से संबंधित पोस्ट को सेंसर करने के लिए "बार-बार दबाव" डाला। इसके बारे में "अधिक मुखर" न होने के लिए "अफसोस" व्यक्त करते हुए, मेटा के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) जकरबर्ग ने यह भी आरोप लगाया कि उनके सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को कुछ संशोधन करने पड़े।
जुकरबर्ग ने पैनल को संबोधित एक पत्र में लिखा, "अभी इस बात पर बहुत चर्चा हो रही है कि अमेरिकी सरकार मेटा जैसी कंपनियों के साथ कैसे बातचीत करती है, और मैं अपनी स्थिति के बारे में स्पष्ट होना चाहता हूं। हमारे मंच सभी के लिए हैं। हम बोलने की आजादी को बढ़ावा देने और लोगों को सुरक्षित तरीके से जुड़ने में मदद करते हैं। इसके हिस्से के रूप में, हम नियमित रूप से दुनिया भर की सरकारों और अन्य लोगों से सार्वजनिक चर्चा और सार्वजनिक सुरक्षा के बारे में विभिन्न चिंताओं को सुनते हैं। "
उन्होंने पैनल को बताया कि 2021 में, व्हाइट हाउस के "वरिष्ठ अधिकारियों" ने "हास्य और व्यंग्य सहित कुछ कोविड -19 सामग्री को सेंसर करने के लिए महीनों तक हमारी टीमों पर बार-बार दबाव डाला। ज़करबर्ग ने कहा कि जब उनकी कंपनी ने सेंसरशिप से सहमत होने से इनकार कर दिया तो बिडेन प्रशासन ने बहुत निराशा व्यक्त की।
Mark Zuckerberg just admitted three things:
— House Judiciary GOP 🇺🇸🇺🇸🇺🇸 (@JudiciaryGOP) August 26, 2024
1. Biden-Harris Admin "pressured" Facebook to censor Americans.
2. Facebook censored Americans.
3. Facebook throttled the Hunter Biden laptop story.
Big win for free speech. pic.twitter.com/ALlbZd9l6K
उन्होंने लिखा कि आखिरकार, यह हमारा निर्णय था कि सामग्री को हटाया जाए या नहीं। हम अपने फैसले लेते हैं। यूएस हाउस ज्यूडिशियरी पैनल ने जुकरबर्ग के पत्र को एक्स पर पोस्ट किया। इसमें लिखा है कि मार्क जुकरबर्ग ने अभी तीन बातें स्वीकार की हैं।
1. बिडेन-हैरिस प्रशासन ने अमेरिकियों को सेंसर करने के लिए फेसबुक पर "दबाव" डाला।
2. फेसबुक ने अमेरिकियों को सेंसर किया।
3. फेसबुक ने हंटर बिडेन की लैपटॉप स्टोरी को दबा दिया।