कोविड-19: कहीं टीके के लिये तरस रहे लोग, कहीं लगवाने वालों की कमी

By भाषा | Updated: September 11, 2021 20:21 IST2021-09-11T20:21:15+5:302021-09-11T20:21:15+5:30

Kovid-19: Somewhere people are yearning for vaccine, somewhere there is a shortage of people | कोविड-19: कहीं टीके के लिये तरस रहे लोग, कहीं लगवाने वालों की कमी

कोविड-19: कहीं टीके के लिये तरस रहे लोग, कहीं लगवाने वालों की कमी

नैरोबी, 11 सितंबर (एपी) केन्या की राजधानी नैरोबी के सबसे बड़े अस्पताल के बाहर प्रतिदिन सैकड़ों लोग सुबह से लेकर शाम तक कोविड-19 टीका लगवाने की उम्मीद में कतार में लगे रहते हैं। कभी-कभी यह कतार सुचारू रूप से आगे बढ़ती है जबकि कई बार टीके उपलब्ध नहीं होने के चलते उन्हें निराश होकर वापस लौटना पड़ता है।

वहीं दूसरी ओर, अमेरिका के अटलांटा में बुधवार को एक गिरजाघर में दो कर्मी पर्याप्त मात्रा में टीके लेकर इन्हें लगवाने वालों की राह देख रहे थे। वे लैपटॉप पर संगीत सुनकर अपना वक्त बिता रहे थे। छह घंटे में केवल एक व्यक्ति ही वहां आया।

इन दो अलग-अलग तस्वीरों से दुनियाभर में टीकाकरण को लेकर विषमता का अंदाजा लगाया जा सकता है।

अमीर देशों में लोगों के पास टीकों के कई विकल्प मौजूद हैं। वे अपने घरों से कुछ दूर जाकर मिनटों में टीका लगवा सकते हैं। अटलांटा में कई अस्थायी क्लीनिकों के कर्मी टीके लेकर ग्रामीण इलाकों और उसके आसपास बसे शहरी इलाकों में जाते हैं, लेकिन उन्हें टीका लगवाने वाले कुछ ही लोग मिलते हैं।

दूसरी ओर, विकासशील देशों में टीकों की आपूर्ति सीमित और अनिश्चित है।

अफ्रीका में केवल तीन प्रतिशत लोग की टीकों की सभी खुराक ले पाए हैं। स्वास्थ्य अधिकारियों और आम नागरिकों को इस बात का बहुत कम अंदाजा होता है कि अगले दिन के लिये टीके बचेंगे या नहीं।

हालिया हफ्तों में कई टीकों को मंजूरी दी गई है। लेकिन बृहस्पतिवार को अफ्रीका में विश्व स्वास्थ्य संगठन के निदेशक ने कहा कि इस साल के अंत तक अफ्रीका को जितने टीके मिलने का अनुमान था, उससे 25 प्रतिशत कम टीके मिलेंगे। उन्होंने बताया कि इसकी वजह यह है कि अमेरिका जैसे देशों में अब बूस्टर खुराक देने का सिलसिला शुरू हो गया है।

नैरोबी में बिदियान ओकोथ नामक व्यक्ति ने बताया कि उन्हें अस्पताल में टीका लगवाने के लिये तीन घंटे कतार में लगना पड़ा और फिर पर्याप्त खुराकें न होने की बात कहकर उन्हें घर वापस भेज दिया गया।

उन्होंने कहा, लेकिन अमेरिका गए उनके एक दोस्त को वहां पहुंचते ही उनकी पसंद का टीका लगा दिया गया।

ओकोथ ने कहा, ''हम अंदाजा नहीं लगा पा रहे कि हमें पहली खुराक लेने के लिये सुबह कितने बजे उठकर कतार में लगना होगा। दूसरी ओर, हम सुनते हैं कि लोग अपनी पसंद का टीका लगवा रहे हैं। यह बहुत अधिक निराशाजनक है। ''

अमेरिका में 53 प्रतिशत आबादी को टीका लगाया जा चुका है। देश में रोजाना संक्रमण के औसतन डेढ़ लाख और मौत के 1,500 नए मामले सामने आए हैं। दूसरी ओर अफ्रीका में 7 करोड़ 90 लाख लोग अब तक संक्रमित पाए जा चुके हैं जबकि 2 लाख लोगों की मौत हो चुकी है। बेहद संक्रामक डेल्टा स्वरूप के चलते हाल में नए मामलों में तेज वृद्धि देखी गई है।

डब्ल्यूएचओ के प्रमुख टेड्रोस एडनॉम गेब्रेयेसस ने बुधवार को जोर देकर कहा कि कोरोना वायरस टीकों की बड़ी आपूर्ति वाले अमीर देशों को साल के अंत तक बूस्टर खुराक देने पर रोक लगानी चाहिए और गरीब देशों को खुराकें उपलब्ध करानी चाहिए।

नैरोबी में, ओकोथ का मानना ​​​​है कि टीकाकरण में समानता को लेकर वैश्विक प्रतिबद्धता होनी चाहिए ताकि हर किसी को जितनी जल्दी हो, वायरस से सुरक्षा प्रदान की जा सके।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Web Title: Kovid-19: Somewhere people are yearning for vaccine, somewhere there is a shortage of people

विश्व से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे