जम्मू-कश्मीर का जिक्र जब भी होता है, आखों के सामने खौफ और आतंक का मंजर छाने लगता है। आतंकवाद के कारण बीते लगभग तीन दशकों में लहुलुहान कश्मीर घाटी को उस वक्त थोड़ा सुकून का एहसास हुआ, जब आतंक प्रभावित श्रीनगर में इंजीनियर और प्रोफेसर बिलाल अहमद ने अपन ...