वसंत पंचमी या सरस्वती पूजा का उत्तर भारत में बहुत महत्व है। यह विद्या और संगीत की देवी मां सरस्वती की उपासना का दिन है। हिंदू पंचांगों के अनुसार ये वसंत पंचमी का पर्व हर साल माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी को मनाया जाता है। ऐसी भी मान्यता है कि इसी दिन ब्रह्मा जी ने माता सरस्वती की रचना की थी। Read More
दरभंगा में शुक्रवार को बहेरा बाजार में दो समुदायों के बीच झड़प हो गयी। पुलिस ने कहा कि उन्होंने 170 नामित आरोपियों और 400 अज्ञात लोगों के खिलाफ बहेरा, बिशनपुर, हायाघाट और भालपट्टी पुलिस स्टेशनों में अलग-अलग प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज की है। ...
मूर्त या मानवीकृत बसंत कामदेव का परम सुहृदय और सहचर है। वह सृष्टि के उद्भेद का संकल्प है। फागुन–चैत, यानी आधा फरवरी, पूरा मार्च और आधा अप्रैल बसंत ऋतु के महीने कहे जाते हैं। बसंत या फागुन-चैत के साथ भारतीय नया वर्ष भी शुरू होता है। ...
Basant Panchami Katha: हिन्दू धर्म में मां सरस्वती को ज्ञान, सुर, संगीत, कला,बुद्धि और वाणी की देवी माना जाता है। मान्यता है कि मां सरस्वती ने ही इस सृष्टि को वाणी प्रदान की थी। उनसे ही ज्ञान का प्रकाश सभी मनुष्यों को प्राप्त हुआ है। ...
Basant Panchami 2024 Puja Mantra: धार्मिक मान्यता है कि माघ शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि पर मां शारदा की उत्पत्ति हुई थी। इसलिए बसंत पंचमी का यह पर्व ज्ञान की देवी मां सरस्वती को समर्पित है। ...
बसंत ऋतु तथा पंचमी का अर्थ है शुक्ल पक्ष का पांचवां दिन. अंग्रेजी कैलेंडर के अनुसार यह पर्व जनवरी या फरवरी माह में तथा हिंदू पंचांग के अनुसार माघ माह में मनाया जाता है. ...
बसंत पंचमी आज है। इस मौके पर विद्या की देवी माता सरस्वती की पूजा करने की परंपरा है। ऐसी मान्यता है कि इसी दिन माता सरस्वती की उत्पत्ति हुई थी। जानिए इससे जुड़ी पौराणिक कथा... ...