Lunar Eclipse 2020: चंद्र ग्रहण में इस बार नहीं लगेगा सूतक, कर सकेंगे सभी काम, मंदिर भी खुले होंगे, जानें कारण

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: January 7, 2020 11:07 AM2020-01-07T11:07:36+5:302020-01-07T11:29:52+5:30

Lunar Eclipse (Chandra Grahan) 2020: धार्मिक विषयों से जुड़े जानकारों के अनुसार दरअसल ये मात्र उपछाया चंद्र ग्रहण है। कई जानकारों के अनुसार उपछाया चंद्र ग्रहण को शास्त्रों में ग्रहण की श्रेणी में नहीं रखा गया है।

Lunar Eclipse 2020: date and time in India and No sutak kaal on chandra grahan this time | Lunar Eclipse 2020: चंद्र ग्रहण में इस बार नहीं लगेगा सूतक, कर सकेंगे सभी काम, मंदिर भी खुले होंगे, जानें कारण

Lunar Eclipse 2020: चंद्र ग्रहण में इस बार नहीं लगेगा सूतक (फाइल फोटो)

Highlights Lunar Eclipse: इस बार 10 जनवरी को उपछाया चंद्र ग्रहण, इसलिए नहीं लगेगा सूतकआमतौर पर चंद्र ग्रहण का सूतक 9 घंटे पहले लगता है, इस बार ऐसी कोई बाध्यता नहीं

Lunar Eclipse (Chandra Grahan), January 2020: किसी भी ग्रहण के दौरान सबसे ज्यादा लोगों की दिलचस्पी सूतक काल को लेकर होती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार सूतक काल में कोई भी शुभ कार्य नहीं करने चाहिए। यहां तक कि मंदिर के कपाट भी बंद कर दिये जाते हैं।

हालांकि, 10 जनवरी को लगने जा रहे साल के पहले चंद्र ग्रहण में सूतक नहीं लगेगा। इसके मायने ये हुए इस दौरान न तो मंदिरों के कपाट बंद होंगे और न ही किसी धार्मिक कार्य या मूर्ति आदि को छूने की मनाही होगी। साथ ही चंद्र ग्रहण में आप सामान्य दिनों की तरह काम भी कर सकेंगे।

Lunar Eclipse 2020: चंद्र ग्रहण पर नहीं लगेगा सूतक

धार्मिक विषयों से जुड़े जानकारों के अनुसार दरअसल ये मात्र उपछाया चंद्र ग्रहण है। कई जानकारों के अनुसार उपछाया चंद्र ग्रहण को शास्त्रों में ग्रहण की श्रेणी में नहीं रखा गया है। यही कारण है कि इस ग्रहण के दौरान सूतक नहीं लगेगा। आमतौर पर चंद्र ग्रहण का सूतक 9 घंटे पहले और सूर्य ग्रहण का सूतक 12 घंटे पहले से शुरू हो जाता है। चूकी शास्त्रों के अनुसार ये ग्रहण नहीं है, इसलिए इसका खास प्रभाव भी नहीं पड़ेगा।

Lunar Eclipse 2020: उपछाया चंद्र ग्रहण क्या होता है

विज्ञान के अनुसार चंद्र ग्रहण तभी लगता है जब एक समय पृथ्वी दरअसल चंद्रमा और सूर्य के बीच आ जाता है। इस वजह से चंद्रमा पर सीधे तौर पर सूर्य की रोशनी नहीं जाती और वह पूरी तरह पृथ्वी की छाया में आ जाता है। उपछाया चंद्र ग्रहण में ऐसा नहीं होता। असल में किसी भी चंद्र ग्रहण से पहले चंद्रमा पृथ्वी की उपछाया में प्रवेश करता है। इसके बाद पृथ्वी की वास्तविक छाया वहां प्रवेश करती है।

हालांकि, कई बार ऐसी परिस्थिति बनती है जब केवल पृथ्वी की उपछाया ही चंद्रमा पर कुछ समय के लिए पड़ती है और फिर वह पृथ्वी की ओट से बाहर आ जाता है। ऐसा अक्सर तब होता है जब सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा पूरी तरह से एक सीध में नहीं आ पाते। ऐसे में चंद्रमा का बिंब केवल धुंघला रह जाता है। इस स्थिति में चंद्रमा को साफ तौर पर देखा भी नहीं जा सकता, इसलिए इसे उपछाया चंद्र ग्रहण ही कहते हैं।

Lunar Eclipse 2020: चंद्र ग्रहण कितने बजे से है

इस उपछाया चंद्र ग्रहण प्रारंभ 10 जनवरी की रात को 10.39 बजे से हो रहा है। यह करीब चार घंटे का रहेगा और रात 2.42 बजे खत्म हो जाएगा। इस ग्रहण को भारत समेत यूरोप, अफ्रीका, एशिया और ऑस्ट्रेलिया में देखा जा सकेगा। इस ग्रहण के दौरान ही पंचाग के अनुसार हिंदी माह माघ की भी शुरुआत होगी।

English summary :
Lunar Eclipse (Chandra Grahan), January 2020: During any eclipse, most people need to know about sutak timing. According to religious beliefs, no auspicious work should be done in the Sutak period. Even the doors of the temple are closed.


Web Title: Lunar Eclipse 2020: date and time in India and No sutak kaal on chandra grahan this time

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