दिवाली पौराणिक कथा: जानिए क्यों मनाते हैं दिवाली और क्या है इसका महत्व?

By मेघना वर्मा | Published: November 6, 2018 05:37 PM2018-11-06T17:37:35+5:302018-11-06T17:37:35+5:30

Diwali katha, History, Lord Laxmi and Ganesh Pujan vidhi, Significance Importance in Hindi: हर साल दिवाली के मौके पर लोग अपने घरों की साफ-सफाई करते हैं और दीया जलाते हैं। मान्यता है कि ऐसा करने से घर में लक्ष्मी जी का वास होता है। 

Diwali katha, history, puja vidhi, Lord Laxmi and Ganesh puja, significance Importance in Hindi | दिवाली पौराणिक कथा: जानिए क्यों मनाते हैं दिवाली और क्या है इसका महत्व?

दिवाली पौराणिक कथा: जानिए क्यों मनाते हैं दिवाली और क्या है इसका महत्व?

रोशनी का पर्व दिवाली इस साल 7 नवंबर को मनाई जाएगी। हिन्दू धर्म में मान्यता है कि आज ही के दिन भगवान श्री राम अपने 14 साल का वनवास काटकर वापिस अयोध्या आए थे। इसी खुशी में हर साल दिवाली का ये त्योहार देश भर में मनाया जाता है। दिवाली पर ना सिर्फ लोग गणेश और लक्ष्मी की पूजा की जाती है बल्कि लोग व्रत भी करते हैं। रंग-बिरंगी रंगोलियों से अपने घर भी सजाते हैं। आज हम आपको दिवाली की इसी व्रत कथा बताने जा रहे हैं जिसे दिवाली के दिन पढ़ना शुभ कहा जाता है। 

ये है पौराणिक कहानी

धार्मिक ग्रन्थ रामायण के अनुसार दिवाली के ही दिन भगवान राम अपना 14 साल का वनवास काटकर, घंमडी और निर्दयी लंका नरेश का वध करके वापस अयोध्या आये थे। उसी खुशी में अयोध्या के हर घर में दीया जलाया गया था। अपने भगवान के आने की खुशी में अयोध्या नगरी दीयों से जगमगा उठी थी। बस तभी से रोशनी का ये पर्व मनाया जाता है। 

ये है व्रत कहानी

एक साहूकार की बेटी थी। वो रोजाना पीपल के पेड़ की पूजा किया करती थी और उस पर जल चढ़ाया करती थी। उस पेड़ पर लक्ष्मी जी का वास था। एक बार लक्ष्मी जी ने साहूकार की बेटी से कहा कि वो उनकी दोस्त बनना चाहती हैं। साहूकार की बेटी बोली मैं अपने पिता से पूछकर बताऊंगी। अपने पिता की हां के बाद लक्ष्मी जी और साहूकार की बेटी अच्छी दोस्त बन गई। 

एक दिन लक्ष्मी जी उसे अपने घर लेकर गई और उसका स्वागत किया। वहीं लक्ष्मी जी ने कहा कि तुम कब मुझे अपने घर ले चलोगी तो बेटी अपने घर की स्थिती को सोचकर परेशान हो गई। उसने अपने घर लक्ष्मी जी को बुला तो लिया मगर चेहरे से ही वो परेशान हो गई। जब उसके पिता ने जब देखा तो उन्होंने घर की अच्छे से साफ-सफाई की और चारों ओर दीया जला दिया। जिससे उनका घर सुन्दर लगने लगा। 

जब लक्ष्मी जी को सब पता चला तो उन्होंने साहूकार के घर को धन और धान्य से भर दिया। तब से हर साल दिवाली के मौके पर लोग अपने घरों की साफ-सफाई करते हैं और दीया जलाते हैं। मान्यता है कि ऐसा करने से घर में लक्ष्मी जी का वास होता है। 

English summary :
Diwali katha, History, Lord Laxmi and Ganesh Pujan vidhi, Significance Importance in Hindi


Web Title: Diwali katha, history, puja vidhi, Lord Laxmi and Ganesh puja, significance Importance in Hindi

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