लखनऊ: कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने उत्तर प्रदेश में बढ़ते कोरोना वायरस (COVID19)के मामलों को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ को एक पत्र लिखा है। प्रियंका गांधी ने कहा है, मैंने सीएम साहेब को पत्र लिखकर कुछ सकारात्मक सुझाव दिए हैं। प्रियंका गांधी ने शनिवार (25 जुलाई) को ट्वीट कर ये पत्र साझा किया है। प्रियंका गांधी ने लिखा है, ''यूपी में कोरोना की रफ्तार बढ़ने के साथ-साथ भयानक दिक्कतें सामने आ रही हैं। बेड की बड़ी किल्लत है। अस्पतालों के बाहर लंबी लाइन है। मौत के आंकड़ें बढ़ रहे हैं। कानपुर लखनऊ, गोरखपुर, वाराणसी से बदहाली की खबरें हैं। मैंने सीएम साहेब को पत्र लिखकर कुछ सकारात्मक सुझाव दिए हैं।''
पढ़िए पत्र में कोरोना वायरस को लेकर प्रियंका गांधी ने सीएम योगी को क्या-क्या सुझाव दिए हैं
- प्रियंका गांधी ने आगे लिखा है, ''यूपी सरकार को हठ छोड़कर एक पारदर्शी और जनहित वाली नीति अपनाने की जरूरत है।''
-प्रियंका गांधी ने लिखा है, साफ प्रतीत होता है कि आपकी सरकार ने नो टेस्ट, नो कोरोना का मंत्र अपनाकर LOW Testing की पॉलिसी अपनाए हुए है।
-प्रियंका गांधी ने लिखा, अब यूपी में एकदम से कोरोना मामलों की विस्फोट की स्थिति है। क्वारंटाइन सेंटर अस्पतालों की स्थिति बड़ी दयनीय है।
-प्रियंका गांधी ने लिखा, कोरोना का डर दिखाकर पूरे तंत्र में भ्रष्टाचार भी पनपने लगा है। आपकी सरकार ने दावा किया था कि डेढ (1.5) लाख बेड्स की व्यवस्था है, लेकिन लगभग 20,000 सक्रिय संक्रमित के आने पर ही बेड्स को लेकर मारामारी दिख रही है।
-प्रियंका गांधी ने सुझाव देते हुए लिखा, प्रधानमंत्री बनारस के सांसद हैं और रक्षामंत्री लखनऊ के, अन्य भी कई केंद्रीय मंत्री उत्तर प्रदेश से हैं। तो क्या बनारस, लखनऊ और आगरा में अस्थाई अस्पताल नहीं खोले जा सकते हैं।
-प्रियंका गांधी ने लिखा, अगर अस्पतालों के सामने भयंकर भीड़ है तो मैं यह समझ नहीं पा रही हूं कि युपी सरकार मुंबई और दिल्ली के तर्ज पर अस्थाई अस्पताल क्यों नहीं बनवा रही है। चिकित्सीय सुविधा पाना हर नागरिक का मौलिक अधिकार है।
-प्रियंका गांधी ने लिखा, DRDO, सेना और पैरा मिलिट्री द्वारा अस्थाई अस्पतालों का संचालन किया जा सकता है। या जरूरत हो तो DRDO के अस्पताल को लखनऊ लाया जा सकता है।
-प्रियंका गांधी ने लिखा, होम आइसोलेशन एक अच्छा कदम है। लेकिन इसे आनन-फानन में आधा अधूरा लागू नहीं किया जाना चाहिए।