नाना पटोले होंगे महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस के नए अध्यक्ष, पार्टी नेतृत्व ने लगाई सहमति की मुहर
By शीलेष शर्मा | Updated: February 4, 2021 18:20 IST2021-02-04T17:26:10+5:302021-02-04T18:20:00+5:30
कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के पुनर्गठन को लेकर प्रदेश से जुड़े पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने शनिवार को यहां कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल और राज्य प्रभारी एचके पाटिल से मुलाकात की।

पार्टी संगठन के प्रभारी महासचिव के सी वेणुगोपाल पटोले को नया प्रदेश अध्यक्ष बनाये जाने के लिये पैरवी कर रहे हैं। (file photo)
नई दिल्लीः महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस को नया अध्यक्ष देने के सवाल पर कांग्रेस का शीर्ष नेतृत्व लंबी माथा पच्ची के बाद अब नाना पटोले के नाम पर मुहर लगाने की तैयारी कर चुका है और किसी समय उनके नाम की औपचारिक घोषणा संभव है।
उच्चपदस्थ सूत्रों के अनुसार कल पूरे दिन राज्य के प्रभारी एच के पाटिल इस मुद्दे पर चर्चा करते रहे,संकेत मिले हैं कि महाराष्ट्र विधान सभा के अध्यक्ष नाना पटोले से भी प्रभारी एच के पाटिल ने लंबी चर्चा की और उसके बाद पाटिल ने राहुल गांधी से मुलाक़ात कर पटोले को नया अध्यक्ष बनाने का निर्णय किया। इस बीच खबर है कि महाराष्ट्र विधानसभा स्पीकर नाना पटोले ने दिया अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।
हालांकि पार्टी ने इस मुलाक़ात पर कोई टिप्पणी तो नहीं की लेकिन संकेत दिये कि किसी समय महाराष्ट्र के लिये नये अध्यक्ष की नियुक्ति तथा उसकी घोषणा की जा सकती है। इन मुलाक़ातों के बाद साफ़ हो गया है कि नाना पटोले का अध्यक्ष बनाया जाना तैय है। ग़ौरतलब है कि नेतृत्व की सूची में जिन नामों पर चर्चा की जा रही थी उसमें भी नाना पटोले का नाम सबसे ऊपर बना हुआ था।
प्राप्त संकेतों के अनुसार पार्टी संगठन के प्रभारी महासचिव के सी वेणुगोपाल पटोले को नया प्रदेश अध्यक्ष बनाये जाने के लिये पैरवी कर रहे थे। दरअसल पार्टी के वर्तमान अध्यक्ष बाला साहब थोराट के पास दोहरी ज़िम्मेदारी होने के कारण उनको बदलने का फ़ैसला उसी समय कर लिया गया था जब उनको गठबंधन सरकार में मंत्री पद से नवाजा गया और तब से नये अध्यक्ष की तलाश जारी थी।
Maharashtra Assembly Speaker Nana Patole resigns from his post, hands over his resignation to Deputy Speaker Narhari Zirwal. pic.twitter.com/oXNL0Wyn5p
— ANI (@ANI) February 4, 2021
नाना पटोले को ज़िम्मेदारी देने की चर्चा के साथ पार्टी इस बात पर भी गंभीरता से विचार कर रही है कि विधान सभा अध्यक्ष पद की ज़िम्मेदारी किसे सौंपी जाये, लेकिन शरद पवार के ताज़ा वयान ने नया संकट खड़ा कर दिया है जिसमें पटोले के विधानसभा अध्यक्ष पद से इस्तीफ़ा देने के बाद अध्यक्ष पद को लेकर राकांपा की दावेदारी के संकेत दिये गये हैं।
बावजूद इसके कांग्रेस इस बात पर आमादा है कि सरकार गठन के समय सहमति से जो फ़ॉर्मूला बना था गठबंधन के सभी दल उससे बंधे हैं नतीजा अध्यक्ष का पद कांग्रेस के कोटे में था और कांग्रेस इस पर अपना दावा पूरी ताक़त से पेश करेगी।