PM Jandhan: बैंक खातों में जमा 1.5 लाख करोड़ रुपये के पार, फ्री में मिलती है 2.30 लाख की सुविधा, जानें कैसे

By सतीश कुमार सिंह | Published: January 9, 2022 03:37 PM2022-01-09T15:37:18+5:302022-01-09T15:45:04+5:30

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जन धन योजना के तहत खोले गए बैंक खातों में जमा राशि का आंकड़ा 1.5 लाख करोड़ रुपये को पार कर गया है। सरकार ने यह योजना साढ़े सात साल पहले शुरू की थी।

वित्त मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के अनुसार, प्रधानमंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) के तहत खातों की संख्या 44.23 करोड़ पर पहुंच चुकी है। इन खातों में जमा राशि का 1.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गई है। वित्तीय समावेशन को बढ़ावा देने वाली इस योजना ने पिछले साल अगस्त में क्रियान्वयन के सात साल पूरे किए थे।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2014 में अपने स्वतंत्रता दिवस के संबोधन में जनधन योजना शुरू करने की घोषणा की थी। वित्त मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, कुल 44.23 करोड़ जन धन खातों में से 34.9 करोड़ खाते सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में और 8.05 करोड़ खाते क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों में हैं। शेष 1.28 करोड़ खाते निजी क्षेत्र के बैंकों में खोले गए हैं।

इसके अलावा पीएमजेडीवाई के 31.28 करोड़ लाभार्थियों को रुपे कार्ड जारी किया गया है। यहां उल्लेखनीय है कि समय के साथ रुपे कार्ड की संख्या और इसका इस्तेमाल बढ़ा है।

इस योजना के पहले साल में 17.90 करोड़ खाते खोले गए थे। किसी खाताधारक द्वारा किए गए लेनदेन के आधार पर जन धन खातों में शेष या बैलेंस रोजाना के आधार पर बदल सकता है।

जन धन योजना के तहत 2.30 लाख रुपये का फायदा हो जाता है। खाता खुलवाने पर एक्सीडेंटल इंश्योरेंस कवर दिया जाता है। खाता धारक को 1 लाख को दुर्घटना बीमा, साथ में 30 हजार का जनरल इंश्योरेंस  मिलता है। मौत हो जाने पर 2 लाख मिलते हैं, इस लिहाज से आपको 2.30 मिल जाता है।

किसी दिन खाते में ‘बैलेंस’ शून्य पर भी आ सकता है। सरकार ने पिछले महीने संसद को सूचित किया था कि आठ दिसंबर, 2021 तक जन धन खातों में शून्य शेष या बैलेंस वाले खातों की संख्या 3.65 करोड़ थी। यह कुल जन धन खातों का 8.3 प्रतिशत बैठता है। आंकड़ों के अनुसार, 29.54 करोड़ जन धन खाते ग्रामीण और अर्द्ध-शहरी बैंक शाखाओं में हैं। 29 दिसंबर, 2021 तक कुल जन धन खाताधारकों में से 24.61 करोड़ महिलाएं थीं।