Bihar bridge collapse: बिहार में पुलों के जल समाधि लेने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। भागलपुर में सुल्तानगंज और अगुवानी के बीच गंगा नदी पर निर्माणाधीन फोरलेन पुल तीसरी बार धराशायी हो गया। इस बार भागलपुर की तरफ से 9 और 10 नंबर के बीच बना स्लैब लोहा समेत गंगा नदी में समा गया। लगातार तीसरी बार पुल हादसे के बाद हड़कंप मचा हुआ है। घटना के बाद बिहार सरकार का ये महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट एक बार फिर सवालों के घेरे में आ गया है क्योंकि कंपनी अगले कुछ ही महीनों में इसे चालू करने का दावा कर रह थी।
ऐसे में अगर ये पुल चालू हो जाता तो कितना बड़ा हादसा हो सकता था। इसकी कल्पना करना भी कठिन है। दरअसल, शनिवार सुबह के लगभग 7 बजकर 15 मिनट पर महज कुछ ही सेकेंड में यह पुल नदी में गिर गया। चंद पलो में करोड़ों रुपये की लागत से बन रहा पुल एक बार फिर गंगा नदी में गिर गया। इसी के साथ नीतीश सरकार सालों से विकास के जो दावे करती आ रही है।
उस पर फिर से सवाल उठने लगे हैं। इस महासेतु का निर्माण एसपी सिंगला कंपनी द्वारा किया जा रहा है। पहले की जांच अभी तक जारी है। लोगों ने कहा कि शनिवार की सुबह जैसे ही स्ट्रक्चर गिरा वहां पानी में जोर की आवाज आई। वहां मौजूद लोग भी सन्न रह गए। अपने भारी-भरकम वजन के कारण गिरते हुए पिलरों के साथ गंगा के पानी में लगभग 100 फीट ऊंचा उछाल आया। ऐसा लगा मानो सुनामी आया हो।
गंगा की लहरें लगभग दो किलोमीटर तक भयानक हिलोरें लेने लगीं। नमामि गंगे घाट पर स्नान कर रहे कांवड़िये जो पानी में उतरे थे, देखते ही देखते भाग खड़े हुए। सुपर स्ट्रक्चर ध्वस्त होते ही पुल निर्माण कंपनी एसपी सिंगला से जुड़े तमाम कर्मचारी और अधिकारी अपनी जगह से फरार हो गए।
इसी बीच बिहार राज्य पुल निर्माण निगम की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि आज गंगा नदी में जलस्तर के बढ़ने के कारण तेज बहाव से पुल का एक हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया। क्षतिग्रस्त हुआ ढांचा, पूर्व में क्षतिग्रस्त हुए पुल के हिस्से का ही भाग था, जिसे हटाने का निर्देश पूर्व में ही दिया जा चुका था। अभी पुल पर किसी भी प्रकार का कार्य नहीं कराया जा रहा है।
एक वर्ष पूर्व पुल के क्षतिग्रस्त होने बाद हुई जांच के बाद इसके डिजाइन में समस्या दिखी थी और तत्काल प्रभाव से आगे का काम रोक दिया गया था। बता दें कि यहां पर पुल गिरने की घटना यह तीसरी बार बार हुई है। पहली घटना 30 अप्रैल 2022 को अहले सुबह हुई थी जब पाया संख्या 4 और 6 को जोड़ने वाली लगभग 36 सेगमेंट हवा के झोंके में ताश के पत्ते की धराशायी हो गया था।
फिर दूसरी बार 5 जून 2023 की शाम लगभग 6 बजे पाया संख्या 11,12,13 को जोड़ने वाली कई सुपर स्ट्रक्चर नदी में गिर गया था। यह तीन साल में तीसरी घटना है। वहीं तीसरी बार जब शनिवार को पाया संख्या 9 का सुपर स्ट्रक्चर एक बार फिर जमींदोज हो गया। इस पुल का निर्माण 1750 करोड़ की लागत से हो रहा है। लेकिन, अब पुल गिरने की घटना ने कंपनी के निर्माण कार्य पर भी सवाल खड़े कर दिये हैं।