यूक्रेन ने लगाई भारत से मदद की गुहार, राष्ट्रपति जेलेंस्की ने लिखा पीएम मोदी के नाम पत्र
By अंजली चौहान | Updated: April 12, 2023 10:06 IST2023-04-12T09:36:58+5:302023-04-12T10:06:56+5:30
मीनाक्षा लेखी और यूक्रेनी अधिकारियों से मुलाकात की तो उसके बाद मंत्रालय की ओर से एक बयान जारी कर कहा गया कि यूक्रेन के उप वित्तमंत्री ने यह प्रस्ताव दिया कि यूक्रेन में बुनियादी ढांचे की पुनर्निर्माण भारतीय कंपनियों के लिए अवसर हो सकता है।

photo credit: twitter
नई दिल्ली: यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर जेलेंस्की ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पत्र लिखकर भारत से मदद मांगी है। बुधवार को विदेश मंत्रालय ने जानकारी देते हुए कहा कि यूक्रेन ने अतिरिक्त दवाओं और चिकित्सा उपकरणों सहित अतिरिक्त मानवीय आपूर्ति का अनुरोध किया है।
भारत में तीन दिवसीय यात्रा पर आए यूक्रेन के प्रथम उप विदेश मंत्री एमीन झापरोवा (Emine Dzhaparova) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबोधित जेलेंस्की का एक पत्र केंद्रीय मंत्री मीनाक्षी लेखी को सौंपा।
मीनाक्षा लेखी और यूक्रेनी अधिकारियों से मुलाकात की तो उसके बाद मंत्रालय की ओर से एक बयान जारी कर कहा गया कि यूक्रेन के उप वित्तमंत्री ने यह प्रस्ताव दिया कि यूक्रेन में बुनियादी ढांचे की पुनर्निर्माण भारतीय कंपनियों के लिए अवसर हो सकता है।
दरअसल, पिछले साल से शुरू हुए रूस-यूक्रेन संघर्ष की शुरुआत के बाद से यूक्रेन के मंत्री की यह पहली आधिकारिक भारत यात्रा है। यूक्रेनी विदेशी मंत्री ने मीनाक्षी लेखी के साथ मुलाकात की और आपसी हित के व्यापक द्विपक्षीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर चर्चा की।
Not a time for War- PM @narendramodi
— Meenakashi Lekhi (@M_Lekhi) April 11, 2023
Pleased to meet Ukrainian First Dy FM @EmineDzheppar. Exchanged views on bilateral & global issues of mutual interest. Cultural ties & women empowerment also figured in the discussion. Ukraine was assured of enhanced humanitarian assistance. pic.twitter.com/YmzQ6o7LbG
यूक्रेन के दवाओं और चिकित्सा उपकरणों सहित अन्य सहायता आपूर्ति का अनुरोध करने पर मीनाक्षी लेखी ने एक ट्वीट के जरिए कहा कि भारत ने यूक्रेन को मानवीय सहायता बढ़ाने का आश्वासन दिया है।
गौरतलब है कि यूक्रेनी विदेशी मंत्री ने अपने भारत दौरे के दौरान कहा कि युद्धग्रस्त देश विदेशी मेडिकल छात्रों को अपने अधिवास के देश में एकीकृत राज्य योग्यता परीक्षा देने की अनुमति देगा, जो हजारों भारतीय छात्रों के लिए एक बड़ी राहत है जब युद्ध छिड़ने पर इन छात्रों को यूक्रेन छोड़ने पर मजबूर होना पड़ा था। विदेश मंत्री ने भारत को एक वैश्विक नेता और एक 'विश्वगुरु' बताया जो वैश्विक चुनौतियों से निपटने में भूमिका निभा सकता है।
मालूम हो कि पिछले साल दिसंबर में जेलेंस्की ने प्रधानमंत्री मोदी के साथ टेलीफोन पर बातचीत की और उन्हें मानवीय सहायता और समर्थन के लिए धन्यवाद दिया।
फोन कॉल के दौरान दोनों नेताओं ने यूक्रेन में चल रहे संघर्ष के बारे में विचारों का आदान-प्रदान किया।
पीएम मोदी ने युद्ध को तत्काल समाप्त करने के अपने आह्वान को दृढ़ता से दोहराया और कहा कि दोनों पक्षों को अपने मतभेदों का स्थायी समाधान खोजने के लिए बातचीत और कूटनीति पर वापस लौटना चाहिए।
प्रधानमंत्री ने किसी भी शांति प्रयासों के लिए भारत के समर्थन से अवगत कराया और प्रभावित नागरिक आबादी के लिए मानवीय सहायता प्रदान करने के लिए भारत की प्रतिबद्धता को जारी रखने का आश्वासन दिया था।