अगरतला, 23 नवंबर निकाय चुनाव से पहले त्रिपुरा में सत्तारूढ़ भाजपा के दो बागी विधायकों ने मंगलवार को आरोप लगाया कि राज्य में हालिया राजनीतिक हिंसा ने पार्टी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रतिष्ठा को धूमिल किया है, जिससे पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा की चुनावी संभावनाएं प्रभावित हो सकती हैं।
विधायकों सुदीप रॉय बर्मन और आशीष साहा ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि देश की शीर्ष अदालत, त्रिपुरा उच्च न्यायालय और यहां तक कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को भी निकाय चुनाव से पहले हालिया राजनीतिक हिंसा में हस्तक्षेप करना पड़ा।
पश्चिम बंगाल के एक तृणमूल कांग्रेस नेता को गिरफ्तार किया गया था जिन्हें बाद में सोमवार को जमानत पर रिहा किया गया, जबकि तृणमूल कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ अज्ञात हमलावरों ने कथित तौर पर मारपीट की थी।
बर्मन ने कहा, ''हालिया हिंसा से पार्टी के हितों को नुकसान होगा इसलिए हमने इन सभी मामलों की जानकारी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे पी नड्डा, राष्ट्रीय महासचिव (संगठन) बी एल संतोष और असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा को रविवार को दी है।''
नाराज विधायकों ने इस पूरे मामले में परोक्ष रूप से त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लब कुमार देब पर भी निशाना साधा।
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