तेलंगाना चुनाव के कुछ दिन पहले कांग्रेस ने बदली रणनीति, मो. अजहरुद्दीन को बनाया प्रदेश अध्यक्ष
By पल्लवी कुमारी | Updated: November 30, 2018 15:37 IST2018-11-30T15:37:28+5:302018-11-30T15:37:28+5:30
तेलंगाना विधानसभा का चुनाव 2019 में लोकसभा चुनावों के साथ होने वाला था लेकिन मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव के विधानसभा भंग करने के कारण अब राज्य विधानसभा का चुनाव चार राज्यों मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, मिजोरम एवं राजस्थान के साथ ही हो रहा है।

तेलंगाना चुनाव के कुछ दिन पहले कांग्रेस ने बदली रणनीति, मो. अजहरुद्दीन को बनाया प्रदेश अध्यक्ष
तेलंगाना विधानसभा चुनाव सात दिसंबर को होने वाले हैं। इसी बीच कांग्रेस ने एक बड़ा ऐलान किया है। पूर्व सांसद और पूर्व क्रिकेटर मो. अजहरुद्दीन को तेलंगाना कांग्रेस कमेटी का कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया है। इसी के साथ कांग्रेस ने संदीप दीक्षित को एआईसीसी का सचिव भी नियुक्त किया है।
मो. अजहरुद्दीन ने तेलंगाना से चुनाव लड़ने की जताई थी इच्छा
गौरतलब है कि अजहरुद्दीन ने 2019 की लोकसभा चुनाव अपने राज्य तेलंगाना से लड़ने की इच्छा जताई है। मो. अजहरुद्दीन कांग्रेस के टिकट पर उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद से 2009 में चुनाव लड़ चुके हैं।
Mohammad Azharuddin appointed as the working president of Telangana Congress Committee. pic.twitter.com/THwFQWE4bO
— ANI (@ANI) November 30, 2018
कांग्रेस का दावा- हमारी पार्टी कम से कम 75 सीटें जीतेगी
बता दें कि कांग्रेस की प्रदेश ईकाई के कार्यवाहक अध्यक्ष पोन्नम प्रभाकर गौड़ ने कहा कि कांग्रेस एवं तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) के बीच सीधी लड़ाई है और सात दिसंबर को होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा कहीं से भी परिदृश्य में नहीं है।
कांग्रेस ने 2014 में हुए राज्य विधानसभा चुनाव में 22 सीटें जीती थीं। पार्टी इस बार तेलगू देशम पार्टी (तेदेपा), भाकपा और तेलंगाना जन समिति (टीजेएस) के साथ हुए महागठबंधन का हिस्सा है।
गौड़ ने पीटीआई-भाषा के साथ साक्षात्कार में कहा, ‘‘महागठबंधन कोई प्रयोग नहीं है और हमें उम्मीद है कि इसे कामयाबी मिलेगी। हमारी पार्टी कम से कम 75 सीटें जीतेगी।’’
11 दिसंबर को चुनाव के नतीजे
टीआरएस प्रमुख एवं कार्यवाहक मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर की पार्टी ने 107 सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं जबकि कांग्रेस महागठबंधन के तहत 94 सीटों पर चुनाव लड़ रही है।
तेलंगाना विधानसभा का चुनाव 2019 में लोकसभा चुनावों के साथ होने वाला था लेकिन मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव के विधानसभा भंग करने के कारण अब राज्य विधानसभा का चुनाव चार राज्यों मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, मिजोरम एवं राजस्थान के साथ ही हो रहा है।
पांच राज्यों में से राजस्थान और तेलंगाना में सात दिसंबर को चुनाव होंगे जबकि अन्य तीन राज्यों में मतदान हो चुके हैं। सभी पांचों राज्यों में मतगणना 11 दिसंबर को होने वाली है।