कानपुर में दो समुदायों के विवाद के बाद स्थिति सामान्य, अब तक छह गिरफ्तार
By भाषा | Published: November 17, 2020 05:28 PM2020-11-17T17:28:55+5:302020-11-17T17:28:55+5:30
कानपुर (उप्र), 17 नवंबर उत्तर प्रदेश के कानपुर जिले के चकेरी के वाजिदपुर में दो समुदायों के बीच रविवार शाम को हुये विवाद और पथराव के बाद अब हालात धीरे धीरे सामान्य होते जा रहे हैं और आज मंगलवार को हिंसा की कोई नयी घटना नही हुई । पुलिस ने मंगलवार को इसकी जानकारी दी ।
पुलिस और पीएसी के दल इलाके में लगातार गश्त कर रहे हैं और पुलिस तथा प्रशासनिक अधिकारी लगातार स्थिति पर नजर रखे हुये हैं ।
कानपुर के जिलाधिकारी आलोक तिवारी ने मंगलवार को बताया कि इस विवाद में मारे गये पिंटू निषाद:25: के परिजनों को पांच लाख रूपये की आर्थिक सहायता दी गयी है । इस बीच केंद्रीय मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति और राज्य सरकार के कैबिनेट मंत्री सतीश महाना मंगलवार को पिंटू के घर पहुंचे और परिजनों को ढांढस बंधाया ।
जिलाधिकारी ने बताया कि मुख्यमंत्री ने पिंटू के परिजनों को पांच लाख रूपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की थी ।
कानपुर पुलिस के उप महानिरीक्षक डा प्रीतिंदर सिंह ने बताया, ''अब स्थिति नियंत्रण में है। इलाके में कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिये भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। वरिष्ठ पुलिस अधिकारी इलाके में स्थिति पर अपनी नजर बनाये हुये हैं।''
उन्होंने बताया कि सोमवार शाम से कोई भी अप्रिय घटना इलाके में नही हुई है । मंगलवार को दो और लोगों को इस मामले में गिरफ्तार किया गया है ।
पुलिस उप महानिरीक्षक ने बताया कि इलाके में तनाव फैलाने के आरोप में अब तक छह गिरफतारियां हो चुकी है जिसमें एक महिला भी शामिल है । अभी और लोगो की गिरफतारियां हो सकती है क्योंकि पुलिस आरोपियों और संदिग्धों की तलाश में लगातार छापेमारी कर रही है ।
पुलिस अधीक्षक (पूर्वी) राज कुमार अग्रवाल ने सोमवार को बताया था कि वाजिदपुर इलाके में रविवार शाम पिंटू निषाद (25) और संदीप अपने घर से कहीं जा रहे थे, उनका पैर सड़क पर पड़े पानी के एक पाउच पर पड़ गया जिससे पाउच फट गया और उससे निकले पानी की छींटे सड़क के किनारे खड़े कुछ लोगों पर पड़ गयीं। इसी बात को लेकर विवाद हो गया था ।
उन्होंने बताया कि देखते ही देखते इसने दो समुदायों के बीच संघर्ष का रूप ले लिया और दोनों तरफ से पथराव किया गया।
दो समुदायों के बीच संघर्ष की खबर मिलने पर पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची। पथराव में पिंटू निषाद और कई अन्य घायल हो गये। सभी घायलों को लाला लाजपत राय अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां डाक्टरों ने पिंटू को मृत घोषित कर दिया था।
अग्रवाल ने बताया था कि इस मामले में कुल 11 नामजद तथा कुछ अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है ।
अधिकारी के अनुसार कि इस मामले में लापरवाही बरतने के आरोप में जाजमऊ पुलिस चौकी प्रभारी तथा एक कॉन्स्टेबल को लाइन हाजिर कर दिया गया है। आरोप है कि वारदात के दौरान पुलिस रिस्पांस वाहन पर तैनात इन पुलिसकर्मियों ने अपनी जिम्मेदारी नहीं निभाई और महज तमाशबीन बने रहे। इन पुलिसकर्मियों के खिलाफ विभागीय जांच भी शुरू की गई है।
उन्होंने बताया कि अपर पुलिस अधीक्षक (कैंट) सत्यजीत गुप्ता को पूरे मामले की जांच करके रिपोर्ट देने को कहा गया है ।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार शाम हुई इस घटना में शामिल व्यक्तियों को तत्काल गिरफ्तार कर उनके खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
सोमवार शाम को इस वारदात से नाराज परिजन तथा स्थानीय लोगों ने वाजिदपुर में शव रखकर प्रदर्शन किया और मंडल आयुक्त राज्य शेखर से अवैध रूप से कब्जा की गई कालोनियों को खाली कराने की मांग की। परिजन का आरोप है कि इन कॉलोनियों में अक्सर अपराधी तत्व शरण लेते हैं। मंडलायुक्त ने इस मांग को स्वीकार करते हुए अपर नगर मजिस्ट्रेट की अगुवाई में तीन सदस्यीय समिति गठित की है।
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