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फेसबुक पर अभी भी पुकार रही है आसिया जान, 10 साल पहले मृत ननद-भाभी की मौत पर हड़ताल

By सुरेश डुग्गर | Updated: May 31, 2019 16:53 IST

आसिया जान के मित्रों की सूची में बहुत से जाने पहचाने नाम भी हैं। उनकी पहचान भारत विरोधी रवैये और विचार की है। हालांकि आसिया जान की प्रोफाइल में डाली गई फोटो में उसकी भाभी नीलोफर जान का फोटो भी आपको मिलेगा।

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ठळक मुद्देआसिया जान को फेसबुक पर जीवित रखने के पीछे का मकसद लोगों में भारत विरोधी भावनाओं को भड़काना ही है।आसिया जान का शव शोपियां में 30 मई 2009 को अपनी भाभी 22 वर्षीय नीलोफर के साथ मिला था।

दस साल पहले शोपिशं कस्बे में मृत मिली ननद-भाभी आसिया जान और नीलोफर की मौत का मुद्दा एक बार फिर उछलने लगा है। कट्टरपंथी अलगाववादी नेता सईद अली शाह गिलानी ने दोनों की मौत की जांच फिर से करवाने की मांग कर कल शोपियां में हड़ताल का आह्वान किया था तो इन दोनों के प्रति एक कड़वी सच्चाई यह है कि मौत के 10 सालों के बाद भी दोनों फेसबुक पर जीवित हैं और दोस्ती के लिए पुकार रही हैं।

‘मैं आसिया जान हूं। मेरी उम्र उस समय 17 साल की थी जब कश्मीर में तैनात इंडियन आर्मी ने मुझसे बलात्कार कर कत्ल कर दिया। मैं 11वीं कक्षा की मेडिकल की स्टूडेंट थी। मैं भारतीय कश्मीर के शोपियां जिले की रहने वाली थी। मेरा सपना डाक्टर बन कर लोगों की सेवा करना था।’

यह संदेश आपको उस आसिया जान की फेसबुक की प्रोफाइल पर मिलेगा, जिसका शव शोपियां में 30 मई 2009 को अपनी भाभी 22 वर्षीय नीलोफर के साथ मिला था, जब आप अगर अपने फेसबुक के अकाउंट से आसिया जान को सर्च करते हैं या फिर मित्र बनाने के सुझावों के तहत आसिया जान को मित्र बनाने के लिए न्यौता देने के लिए कहा जाता है।

जी हां, फेसबुक पर आसिया जान अभी भी जिन्दा है। आप उसे मित्र बना सकते हैं। वह आपके सवालों का जवाब भी देगी। बस अंतर इतना होगा कि जवाब और कम्यूनिटी ज्वायन करने की आप्शन के तहत आपको सिर्फ भारत विरोधी लिंक ही मिलेंगें, जब आप उसका मित्र बन कर उसकी प्रोफाइल को खंगालने की कोशिश करेंगे।

उसकी प्रोफाइल को ध्यान से पढ़ने वाले यह जान जाते हैं कि आसिया जान की मौत हो चुकी है क्योंकि उपरोक्त संदेश आसिया जान की मौत की खबर देता है। लेकिन साथ ही में वाल्स फोटो में फोटो के स्थान पर उसे फेसबुक पर जिन्दा रखने वाला उस ग्राफिक्स को टांगे हुए हैं जिसमें बताया गया है कि आसिया जान व उसकी भाभी नीलोफर जान के शव कहां मिले थे।

आसिया जान के मित्रों की सूची में बहुत से जाने पहचाने नाम भी हैं। उनकी पहचान भारत विरोधी रवैये और विचार की है। हालांकि आसिया जान की प्रोफाइल में डाली गई फोटो में उसकी भाभी नीलोफर जान का फोटो भी आपको मिलेगा। आसिया जान को फेसबुक पर जीवित रखने के पीछे का मकसद लोगों में भारत विरोधी भावनाओं को भड़काना ही है।

टॅग्स :जम्मू कश्मीर
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