बच्चों से यौन दुर्व्यवहार अपराधी की भ्रष्ट मानसिक को दिखाता है : उच्च न्यायालय

By भाषा | Published: February 1, 2021 08:15 PM2021-02-01T20:15:24+5:302021-02-01T20:15:24+5:30

Sexual abuse of children shows the corrupt mentality of the criminal: High court | बच्चों से यौन दुर्व्यवहार अपराधी की भ्रष्ट मानसिक को दिखाता है : उच्च न्यायालय

बच्चों से यौन दुर्व्यवहार अपराधी की भ्रष्ट मानसिक को दिखाता है : उच्च न्यायालय

नयी दिल्ली, एक फरवरी किसी बच्चे पर यौन हमला अपराधी की भ्रष्ट मानसिकता को दर्शाता है और अपराध निजी प्रकृति का नही होता है क्योंकि इसका समाज पर गंभीर असर होता है। दिल्ली उच्च न्यायालय ने सात वर्षीय बच्चे से दुष्कर्म करने वाले व्यक्ति के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी को रद्द करने से इंकार करते हुए यह टिप्पणी की।

उच्च न्यायालय ने कहा कि बच्चों/बच्चियों को यौन अपराध से सुरक्षा (पोक्सो) कानून इसलिए लाया गया कि वर्तमान कानून में बच्चों के खिलाफ यौन दुर्व्यवहार के लिए पर्याप्त उपचार नहीं थे और इसका मकसद बच्चों का यौन हमले एवं उत्पीड़न से रक्षा करना है।

इसने कहा कि इस तरह के अपराध से समझौता किया जाना और प्राथमिकियों को रद्द करने से न्याय का अहित होगा और कहा कि आरोपी के खिलाफ आरोप ‘‘गंभीर’’ है।

अदालत ने साथ ही कहा कि पीड़ित के पिता को विवाद में आरोपी से समझौता करने की अनुमति नहीं दी जा सकती है क्योंकि वह पीड़ित नहीं है और अदालतों को बुरी ताकतों के खिलाफ बच्चों की रक्षा करनी है।

अभियोजन के मुताबिक, नवंबर 2019 में बच्चे के पिता ने यह आरोप लगाते हुए प्राथमिकी दर्ज कराई थी कि जब वह काम से लौटे तो अपने बेटे को रोता हुआ पाया।

बच्चे ने अपने पिता से कहा कि दोपहर में काम पर जाने के बाद उसी मकान में रहने वाला आरोपी उनके कमरे में आया और उसके साथ दुष्कर्म किया।

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Web Title: Sexual abuse of children shows the corrupt mentality of the criminal: High court

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