केरल के सबरीमाला मंदिर मामले में सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को सभी आयु वर्ग की महिलाओं के प्रवेश को अनुमति देने के उसके फैसले के खिलाफ दायर पुनर्विचार याचिका पर तत्काल सुनवाई से इनकार किया है। इसके बाद भगवान अय्यप्पा के भक्तों ने त्रिवेंद्रम में राजभवन तक 'अय्यप्पा नमः जप यात्रा' निकाली।
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ नेशनल अय्यप्पा डिवोटी एसोसिएशन ने सोमवार (8 अक्टूबर ) को पुनर्विचार याचिका दायर की थी। जिसे आज सुप्रीम कोर्ट ने इनकार किया है।
केरल के प्रसिद्ध सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का रास्ता सुप्रीम कोर्ट (एससी) ने खोल दिया था, जिसके बाद से विभिन्न हिंदू संगठन नाराज हैं और अब वे सुप्रीम कोर्ट के फैसले के विरोध में सड़कों पर उतरने लगे हैं। सैकड़ों अयप्पा श्रद्धालुओं ने मंगलवार (03 अक्टूबर) को केरल के विभिन्न हिस्सों में प्रदर्शन भी किया था। उन्होंने वहां सड़कों को जाम कर दिया था।
बता दें, 28 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट ने एक ऐतिहासिक फैसला सुनाया था, जिसमें चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा की अगुवाई वाली पांच जजों की संवैधानिक बेंच ने सबरीमाला मंदिर में महिलाओं को प्रवेश की अनुमति दी थी।
इसमें चार लोगों ने बहुमत से फैसला सुनाया था, जबकि इंदु मल्होत्रा की राय अलग थी।
कोर्ट के फैसले से पहले सबरीमाला मंदिर में 10 से 50 वर्ष की महिलाओं के प्रवेश पर रोक थी। सबरीमाला मंदिर की ओर से जारी किए गए आदेश में कहा गया था कि 10 वर्ष से लेकर 50 वर्ष तक की महिलाएं मंदिर में प्रवेश नहीं कर सकती हैं। जिन महिलाओं की उम्र 50 से अधिक है वह दर्शन के लिए आते वक्त अपने साथ आयु प्रमाण पत्र लेकर आएं।