फोन टैपिंग मामले में रश्मि शुक्ला का नाम नहीं, लेकिन उनके खिलाफ सामग्री है: महाराष्ट्र सरकार

By भाषा | Updated: October 25, 2021 20:49 IST2021-10-25T20:49:08+5:302021-10-25T20:49:08+5:30

Rashmi Shukla not named in phone tapping case, but has material against her: Maharashtra government | फोन टैपिंग मामले में रश्मि शुक्ला का नाम नहीं, लेकिन उनके खिलाफ सामग्री है: महाराष्ट्र सरकार

फोन टैपिंग मामले में रश्मि शुक्ला का नाम नहीं, लेकिन उनके खिलाफ सामग्री है: महाराष्ट्र सरकार

मुंबई, 25 अक्टूबर महाराष्ट्र सरकार ने सोमवार को बम्बई उच्च न्यायालय को बताया कि कथित फोन टैपिंग और संवेदनशील दस्तावेजों के लीक मामले में वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी रश्मि शुक्ला को आरोपी के रूप में नामित नहीं किया गया है, लेकिन जांच के लिए उनके खिलाफ सामग्री है।

राज्य सरकार की ओर से पेश वरिष्ठ वकील डेरियस खंबाटा ने न्यायमूर्ति नितिन जामदार और न्यायमूर्ति सारंग कोतवाल की खंडपीठ को बताया कि, प्रारंभिक जांच के अनुसार, शुक्ला ने पुलिस तबादलों और तैनाती में कथित भ्रष्टाचार पर संवेदनशील दस्तावेजों और फोन निगरानी वाली सामग्री के तीन पेन ड्राइव बनाए।

खंबाटा ने कहा, ‘‘दो पेन ड्राइव को ट्रैक कर लिया गया है और वे राज्य सरकार के पास हैं। तीसरा पेन ड्राइव महाराष्ट्र में विपक्ष के नेता द्वारा केंद्रीय गृह मंत्रालय को सौंपा गया था।’’

उन्होंने कहा कि पुलिस ने विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस और केंद्रीय गृह मंत्रालय से पेन ड्राइव साझा करने का अनुरोध किया लेकिन कोई जवाब नहीं आया। उन्होंने कहा, ‘‘हमें यह सत्यापित करने की आवश्यकता है कि क्या तीन पेन ड्राइव की सामग्री समान है। अगर वे समान हैं, तो यह स्पष्ट हो जाएगा कि लीक कहां से हुई। हम केवल संवेदनशील दस्तावेजों के लीक होने के मामले की जांच कर रहे हैं और इसकी सामग्री से कोई सरोकार नहीं है।’’

खंबाटा ने कहा, ‘‘यह एक गंभीर मामला है। प्राथमिकी में अभी तक उनका (शुक्ला) नाम नहीं आया है। लेकिन उनके खिलाफ सामग्री है और जांच आगे बढ़नी चाहिए।’’

अदालत शुक्ला द्वारा प्राथमिकी को रद्द करने के अनुरोध वाली याचिका पर सुनवाई कर रही थी और जांच सीबीआई को हस्तांतरित करने का अनुरोध किया था जो पहले से ही राज्य के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख के खिलाफ आरोपों की जांच कर रही है।

केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल अनिल सिंह ने अदालत को बताया कि एजेंसी मामले की जांच करने को तैयार है।

अदालत ने मामले में सुनवाई की अगली तिथि 28 अक्टूबर तय की।

शुक्ला ने अपनी याचिका में आरोप लगाया है कि उन्हें बलि का बकरा बनाया जा रहा है और पुलिस तबादलों और तैनाती में कथित भ्रष्टाचार पर रिपोर्ट सौंपने के लिए महाराष्ट्र सरकार द्वारा उन्हें निशाना बनाया जा रहा है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Web Title: Rashmi Shukla not named in phone tapping case, but has material against her: Maharashtra government

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे