अपने आवास बुलाकर पीएम मोदी ने राष्ट्रपति पुतिन को कराया डिनर, इन मुद्दों पर हुई चर्चा
By भाषा | Published: October 4, 2018 10:25 PM2018-10-04T22:25:09+5:302018-10-04T22:25:09+5:30
प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति पुतिन के लिए किया रात्रिभोज का आयोजन
नई दिल्ली, 4 अक्टूबरः प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बृहस्पतिवार को अपने सरकारी आवास पर रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमिर पुतिन के लिए व्यक्तिगत रात्रिभोज का आयोजन किया। इस दौरान दोनों नेताओं के बीच द्विपक्षीय सहयोग और रणनीतिक मुद्दों सहित अन्य ज्वलनशील मुद्दों पर चर्चा हुई।
इससे पहले मोदी ने 7, लोक कल्याण मार्ग स्थित अपने आवास पर पुतिन का स्वागत किया। भारत की दो दिन की आधिकारिक यात्रा पर बृहस्पतिवार को नई दिल्ली पहुंचे पुतिन की आगवानी विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने की।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि प्रधानमंत्री ने बाद में राष्ट्रपति पुतिन के लिए निजी रात्रिभोज का आयोजन किया। प्रधानमंत्री मोदी ने रूसी और अंग्रेजी भाषाओं में ट्वीट किया, ‘‘भारत में आपका स्वागत है राष्ट्रपति पुतिन। हमारी बातचीत को लेकर उत्सुक हूं, इससे भारत-रूस संबंध और प्रगाढ़ होंगे।’’
Welcome to India, President Putin.
— Narendra Modi (@narendramodi) October 4, 2018
Looking forward to our deliberations, which will further enhance India-Russia friendship. @KremlinRussia_Epic.twitter.com/IlGwRrXgAK
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ वार्षिक द्विपक्षीय शिखर बैठक के लिए रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन दो दिवसीय भारत यात्रा पर बृहस्पतिवार को यहां पहुंचे। पुतिन के साथ एक उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल भी आया है। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने उनकी अगवानी की।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने ट्वीट किया, ‘‘लंबे समय से और समय की कसौटी पर खरी मित्रता। भारत-रूस सालाना शिखर सम्मेलन के लिए व्लादिमीर पुतिन के भारत पहुंचने पर विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने उनकी अगवानी की।’’
19वां भारत-रूस वार्षिक द्विपक्षीय शिखर सम्मेलन यहां शुक्रवार को होगा। रूसी रक्षा कंपनियों के खिलाफ अमेरिकी प्रतिबंधों के मद्देनजर मोदी और पुतिन के इसमें द्विपक्षीय रक्षा सहयोग की समीक्षा करने की उम्मीद है।
दोनों नेताओं के ईरानी कच्चे तेल के आयात पर अमेरिकी प्रतिबंधों सहित प्रमुख क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर भी विचार-विमर्श करने की संभावना है।
यात्रा के दौरान जोर ‘‘एस-400 ट्राइअम्फ ’’ मिसाइल प्रणाली समझौते पर होगा। क्रेमलिन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने मंगलवार को कहा था कि इस यात्रा की खास बात एस-400 वायु रक्षा प्रणाली की आपूर्ति के लिए समझौते पर दस्तखत है और यह करार पांच अरब डॉलर का होगा।