वृहद कोविड-19 टीकाकरण अभियान के लिए पीपीपी आधारित सहभागिता हो : गुलेरिया
By भाषा | Published: February 20, 2021 05:47 PM2021-02-20T17:47:05+5:302021-02-20T17:47:05+5:30
नयी दिल्ली, 20 फरवरी दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के निदेशक रणदीप गुलेरिया ने हाल में कोविड-19 के मामलों में आई कमी को ‘अवसर की छोटी खिड़की’ करार देते हुए शनिवार को देश में वृहद स्तर पर कोरोना वायरस टीकाकरण करने के लिए सार्वजनिक-निजी साझेदारी (पीपीपी) का आह्वान किया।
यहां आयोजित एआईएमए के कार्यक्रम में गुलेरिया ने कहा कि बीमारी के खिलाफ प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने एवं संक्रमण से मृत्युदर कम करने के लिए टीका ही एकमात्र उपलब्ध हथियार है।
उन्होंने रेखांकित किया कि स्वास्थ्य सेवा को केंद्र में रखने की जरूरत है लेकिन इसे सिर्फ सेवा क्षेत्र नहीं मानना चाहिए।
गुलेरिया ने कहा, ‘‘जहां तक टीकाकरण का सवाल है तो अब भी बहुत कुछ करना है और मेरा मानना है कि अधिक निजी-सार्वजनिक साझेदारी की जरूरत है।’’
उन्होंने कहा कि धीरे-धीरे से इस क्षेत्र को खोलने की जरूरत है ताकि अधिक संख्या में लोगों का टीकाकरण हो सके।
दिल्ली एम्स के निदेशक ने कहा, ‘‘ जहां तक पहले चरण की बात है तो स्वास्थ्य कर्मियों एवं फ्रंट लाइन कर्मियों का टीकाकरण संभवत: आसान हिस्सा था क्योंकि आप जानते थे कि किसे टीका लगाना हैं, उनकी संख्या बहुत बड़ी नहीं थी।’’
उन्होंने कहा, ‘‘एक बार जब आप 27 करोड़ लोगों का टीकाकरण शुरू करेंगे तो उस स्थिति में हमारे पास सुदढ़ योजना होनी चाहिए जिसमें उन लोगों की सूची हो जिन्हें टीका लगाना है।’’
गुलेरिया ने कहा, ‘‘हमें एक ऐसी प्रणाली विकसित करने की जरूरत है जहां पर सरकारी और निजी क्षेत्र वास्तव में बड़े पैमाने पर टीकाकरण अभियान शुरू कर सके।’’
उन्होंने रेखांकित किया कि त्वरित आधार पर बड़े पैमाने पर लोगों के टीकाकरण का अभियान चलाने की जरूरत है क्योंकि स्वास्थ्य कर्मियों एवं फ्रंटलाइन कार्यकर्ताओं में कुछ हद तक झिझक की वजह से खुराक की उपलब्धता बढ़ी है।
एम्स के निदेशक ने कहा, ‘‘मेरी व्यक्तिगत राय है कि हमें अवसर की खिड़की मिली है क्योंकि हमारे यहां मामले कम हो रहे हैं लेकिन यह स्थिति कभी भी बदल सकती है जैसा हमने दुनिया के विभिन्न हिस्सों में खासतौर पर अलग-अलग देशों में वायरस का नया स्वरूप आने से देखा है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए हमें इस पल को नहीं खोना चाहिए और बड़े पैमाने पर अपने नागरिकों के टीकाकरण की कोशिश करनी चाहिए जो काफी हद तक कोविड-19 महामारी से रक्षा करेगा।
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