प्रधानमंत्री मोदी ने बृहस्पतिवार को देश के वैज्ञानिकों और नवोन्मेषकों से अपनी सोच का विस्तार करने का आह्वान किया और उन्हें आश्वासन दिया कि सरकार पूरी तरह उनके साथ है।
मोदी ने कहा, ‘‘ आपकी क्षमता विस्तृत है, आप कई चीजें कर सकते हैं, अपनी सोच का विस्तर कर सकते हैं, अपने प्रदर्शन के मापदंड को बदल सकते हैं....पंख फैलाकर उड़ान भर सकते हैं, (आपके लिए) मौके हैं, मैं आपके साथ हूं।’’ उन्होंने यहां रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार पूरी तरह देश के वैज्ञानिकों और नवोन्मेषकों के साथ है।
उन्होंने कहा, ‘‘ आप सभी इस बात से परिचित हैं कि आकाश और समुद्र के साथ ही साइबर क्षेत्र और अंतरिक्ष भी दुनिया के सामरिक समीकरणों को परिभाषित करेंगे। इसी के साथ बुद्धिमान मशीनें भी आने वाले दिनों में रक्षा के क्षेत्र में अहम भूमिका निभायेंगी। ऐसे में भारत पीछे नहीं रह सकता है।’’
प्रधानमंत्री डीआरडीओ द्वारा निर्मित युवा वैज्ञानिक प्रयोगशालाओं को देश को समर्पित करने के बाद बोल रहे थे। ये प्रयोगशालाएं उन्नत प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में समर्पित अनुसंधान पर केंद्रित होंगी। डीआरडीओ की युवा वैज्ञानिक प्रयोगशालाएं बेंगलुरु, मुम्बई, चेन्नई, कोलकाता, हैदराबाद में हैं। डीआरडीओ ने कहा है कि ऐसी हर प्रयोगशालाएं महत्वपूर्ण उन्नत प्रौद्योगिकी से लेकर भविष्य की रक्षा प्रणालियों के विकास पर काम करती हैं। उसने कहा कि संगठन में 35 साल की उम्र तक के चुने हुए वैज्ञानिकों को चिह्नित अनुसंधान क्षेत्रों में काम करने का मौका दिया गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेंगलुरु में डीआरडीओ के एक कार्यक्रम में वैज्ञानिकों को संबोधित किया। प्रधानमंत्री होने के नाते मैं आपके सामने खड़ा होकर कह रहा हूं कि सरकार पूरी तरह आपके साथ है, देश के वैज्ञानिकों के साथ है और Innovators के साथ कंधे से कंधे मिलाकर चलने के लिए तैयार है।
पीएम मोदी ने कहा ने डीआरडीओ में कहा, ‘‘भारत उन कुछ देशों में शामिल है जिनके पास विमान से लेकर विमान वाहक पोत तक सबकुछ बनाने की क्षमता है।’’ प्रधानमंत्री के रूप में मैं आपको बता रहा हूं कि सरकार पूरी तरह देश के वैज्ञानिकों और अभिनव प्रयोग करने वालों के साथ है।
अपने युवा वैज्ञानिक साथियों से मैं ये भी कहूंगा कि ये लैब्स, सिर्फ टेक्नॉलजी को टेस्ट नहीं करेंगी, आपके टेंपरामेंट और पेशेंस को भी टेस्ट करने वाली हैं।आपको हमेशा ये ध्यान रखना होगा कि आपके प्रयास और निरंतर अभ्यास ही हमें सफलता के रास्ते पर ले जाएंगे। मैं DRDO को उस ऊंचाई पर देखना चाहता हूं जहां वो न सिर्फ भारत के वैज्ञानिक संस्थानों की दिशा और दशा तय करे। बल्कि दुनिया के अन्य बड़े संस्थानों के लिए भी प्रेरणास्रोत बनें।
पीएम मोदी ने कहा कि आपने भारत के मिसाइल कार्यक्रम को दुनिया के सबसे उत्कृष्ट कार्यक्रमों में शामिल किया है। बीता वर्ष तो Space और Air Defense के क्षेत्र में भारत के सामर्थ्य को नई दिशा देने वाला रहा है। मैं DRDO को उस ऊंचाई पर देखना चाहता हूं जहां वो न सिर्फ भारत के वैज्ञानिक संस्थानों की दिशा और दशा तय करे, बल्कि दुनिया के अन्य बड़े संस्थानों के लिए भी प्रेरणास्रोत बनें।