फाइजर के कोविड-19 टीके का भंडारण अधिकतर देशों के लिए चुनौती, भारत कर रहा संभावनाओं की समीक्षा: सरकार
By भाषा | Updated: November 17, 2020 21:49 IST2020-11-17T21:49:21+5:302020-11-17T21:49:21+5:30

फाइजर के कोविड-19 टीके का भंडारण अधिकतर देशों के लिए चुनौती, भारत कर रहा संभावनाओं की समीक्षा: सरकार
नयी दिल्ली, 17 नवंबर सरकार ने मंगलवार को कहा कि फाइजर कंपनी के कोविड-19 टीके का शून्य से 70 डिग्री सेल्सियस नीचे के तापमान पर भंडारण एक बड़ी चुनौती है, लेकिन यदि भारत इस टीके को प्राप्त करता है तो सरकार संबंधित संभावनाओं की समीक्षा कर रही है।
इसके साथ ही सरकार ने कहा कि कोविड-19 टीका वितरण पर राष्ट्रीय योजना तैयार होने के अंतिम चरण में है।
नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉक्टर वी के पॉल ने कहा कि टीके की भारतीय आबादी के लिए जरूरी खुराक उपलब्ध नहीं होंगी, लेकिन सरकार संभावनाओं पर काम कर रही है और नियामक की मंजूरी मिलने की स्थिति में इसकी खरीद और वितरण के लिए एक रणनीति तैयार करेगी।
पॉल कोविड-19 पर राष्ट्रीय कार्यबल के प्रमुख भी हैं।
उन्होंने कहा कि हालांकि फाइजर कंपनी के टीके को भारत पहुंचने में कुछ महीने लग सकते हैं।
पॉल ने कहा, ‘‘फाइजर द्वारा विकसित टीके को शून्य से 70 डिग्री सेल्सियस नीचे के तापमान पर रखने के लिए प्रशीतन श्रृंखला की व्यवस्था किसी भी देश के लिए बड़ी चुनौती है। लेकिन फिर भी, यदि यह प्राप्त होता है तो हम समीक्षा कर रहे हैं कि हमें क्या करने की आवश्यकता है...और हम एक रणनीति पर काम करेंगे।’’
मॉडर्ना और फाइजर कंपनियों के टीकों के संबंध में पॉल ने कहा, ‘‘हम घटनाक्रम को देख रहे हैं। उन्होंने इनके प्रारंभिक परिणामों की घोषणा की है और इन्हें नियामक की मंजूरी नहीं मिली है।’’
पॉल ने देश में परीक्षण के विभिन्न चरणों में पहुंचे पांच टीकों को लेकर उम्मीद जताई और कहा कि इन टीकों की खुराक पर्याप्त संख्या में उपलब्ध होंगी।
उन्होंने कहा कि सीरम इंस्टिट्यूट के ऑक्सफोर्ड टीके का तीसरे चरण का परीक्षण लगभग पूरा होने को है, जबकि भारत बायोटेक और भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद द्वारा देश में विकसित किए गए टीके का तीसरे चरण का परीक्षण पहले ही शुरू हो चुका है।
पॉल ने कहा कि जाइडस कैडिला का देश में विकसित एक अन्य टीका दूसरे चरण का परीक्षण पूरा कर चुका है।
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