आवश्यक वस्तु (संशोधन) अधिनियम लागू करने की अनुशंसा वापस ले संसदीय समिति : किसान मोर्चा

By भाषा | Updated: March 20, 2021 21:51 IST2021-03-20T21:51:57+5:302021-03-20T21:51:57+5:30

Parliamentary committee to withdraw recommendation for implementation of Essential Commodities (Amendment) Act: Kisan Morcha | आवश्यक वस्तु (संशोधन) अधिनियम लागू करने की अनुशंसा वापस ले संसदीय समिति : किसान मोर्चा

आवश्यक वस्तु (संशोधन) अधिनियम लागू करने की अनुशंसा वापस ले संसदीय समिति : किसान मोर्चा

नयी दिल्ली, 20 मार्च विवादों से घिरे तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध कर रहे किसान संगठनों के समूह ‘संयुक्त किसान मोर्चा’ ने शनिवार को एक संसदीय समिति से आग्रह किया कि वह अपनी उस अनुशंसा को वापस ले, जिसमें उसने केंद्र से ‘आवश्यक वस्तु (संशोधन) अधिनियम-2020’ को लागू करने के लिए कहा है।

उल्लेखनीय है कि यह अधिनियम भी उन तीनों कानूनों में से एक है, जिनके खिलाफ किसान संगठन पिछले कुछ महीनों से दिल्ली की सीमा के निकट कई स्थानों पर प्रदर्शन कर रहे हैं।

संयुक्त किसान मोर्चा ने आरोप लगाया कि यह अधिनियम निजी क्षेत्र को ‘असीमित मात्रा में जमाखोरी और कालाबाजारी करने’ की छूट देता है। इस मोर्चे में 40 से अधिक किसान संगठन शामिल हैं।

किसान मोर्चा ने ये टिप्पणियां उस वक्त की हैं, जब खाद्य संबंधी संसद की स्थायी समिति ने सरकार से अनुशंसा की है कि ‘आवश्यक वस्तु (संशोधन) अधिनियम-2020’ को ‘अक्षरश:’ लागू किया जाए। तृणमूल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सुदीप बंधोपाध्याय की अध्यक्षता वाली समिति की रिपोर्ट गत 19 मार्च को लोकसभा के पटल पर रखी गई।

इस समिति में कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के सदस्य भी शामिल हैं। ये पार्टियां तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग कर रही हैं।

संयुक्त किसान मोर्चा ने एक बयान जारी कर आरोप लगाया, ‘‘यह अधिनियम निजी क्षेत्र को असीमित मात्रा में जमाखोरी और कालाबाजारी करने की अनुमति देता है। इसके लागू होने से देश में जन वितरण प्रणाली (पीडीएस) और इसका पूरा ढांचा खत्म हो जाएगा।’’

उसने कहा, ‘‘यह बहुत ही शर्मनाक है कि किसान आंदोलन के समर्थन का दावा कर रही कई पार्टियों ने इस अधिनियम को लागू करने की पैरवी की है। हम समिति से अपील करते हैं कि वह अपनी अनुशंसाएं वापस ले।’’

किसान मोर्चा ने शनिवार को एक बैठक में यह फैसला किया कि तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ 22 मार्च को पूरे देश में जिला स्तर पर जनसभाओं का आयोजन किया जाएगा।

उसने यह निर्णय भी लिया कि 26 मार्च को आहूत ‘भारत बंद’ सुबह छह बजे से शाम छह बजे तक रहेगा और इस दौरान सड़क एवं रेल यातायात तथा विभिन्न सेवाओं को अवरुद्ध किया जाएगा, हालांकि, आपात सेवाओं को इस बंद से अलग रखा जाएगा।

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Web Title: Parliamentary committee to withdraw recommendation for implementation of Essential Commodities (Amendment) Act: Kisan Morcha

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